कल तक भाषणबाजी करके देश के टुकड़े-टुकड़े कराने के ख्वाब पाले बैठे शरजील इमाम की गिरफ्तारी के बाद से ही हालत पतली है. उसे भड़काऊ भाषण देने के मामले में तो पुलिस के सवालों का सामना करना ही पड़ेगा. इसके अलावा, दिल्ली पुलिस अपराध शाखा की एसआईटी को आशंका है कि 13 और 15 दिसंबर 2010 को जामिया, जाकिर नगर और न्यू फ्रेंड्स कालोनी में हुई हिंसा में भी इसका हाथ रहा होगा. इस बाबत भी दिल्ली पहुंचते ही शरजील इमाम पर अपराधा शाखा का शिकंजा कसना तय है. आईएएनएस से बात करते हुए इसकी पुष्टि दिल्ली पुलिस अपराध शाखा के डीसीपी राजेश देव ने भी की. उल्लेखनीय है कि डीसीपी राजेश देव उस एसआईटी के प्रमुख भी हैं, जो 13 और 15 दिसंबर को जामिया, जाकिर नगर व न्यू फ्रेंड्स कालोनी में हुई हिंसा की जांच के लिए गठित की गई थी. एसआईटी प्रमुख राजेश देव के मुताबिक, "हमें फिलहाल शरजील इमाम के दो वीडियो मिले हैं. दोनों ही वीडियो भड़काऊ भाषण के हैं. वीडियो जांच में एकदम दुरुस्त पाए गए हैं."
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डीसीपी देव ने आगे कहा, "शरजील इमाम का ट्रांजिट रिमांड मंगलवार को ही मिल चुका था. रिमांड मिलते ही हमारी टीम उसे लेकर दिल्ली के लिए रवाना हो गई है. बुधवार को किसी भी वक्त हमारी टीम उसे दिल्ली लेकर पहुंच सकती है."
क्या भड़काऊ भाषण के अलावा भी शरजील इमाम पर कोई और आरोप है? पूछे जाने पर एसआईटी प्रमुख ने आईएएनएस से कहा, "हां, अन्य आरोप भी हो सकते हैं. हमने उसके बारे में भी पूछताछ की पूरी तैयारी कर ली है. हमें उससे भड़काऊ भाषण वाले वीडियो के अलावा 13 और 15 दिसंबर को बीते साल जामिया, जाकिर नगर और न्यू फ्रेंड्स कालोनी में हुए फसाद-हिंसा के बाबत भी पूछताछ करनी है. फिलहाल इस बात की प्रबल संभावना है कि भाषण वाले वीडियो से आरोपी की जिस तरह की भड़काऊ मंशा-मानसिकता जाहिर हो रही है, उसके मुताबिक उसने 13 और 15 दिसंबर की हिंसा में भी प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से भूमिका न निभाई हो."
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दिल्ली पुलिस अपराध शाखा की एसआईटी के पास मौजूद शरजील इमाम के भाषण के दोनों वीडियो टेप की सत्यता क्या परखी जा चुकी है? पूछे जाने पर डीसीपी राजेश देव ने कहा, "यह जांच का विषय है. हां, फौरी तरफ पर काफी कुछ फैक्ट्स सही पाए गए हैं. इस पर फिलहाल तब तक ज्यादा कुछ बोलना अभी जल्दबाजी होगा, जब तक इन वीडियो टेप को आरोपी को दिखाकर उससे गहन पूछताछ न कर ली जाए."
Source : IANS