डोनाल्ड ट्रंप ने दंगाइयों पर जरूरी कार्रवाई के दिए निर्देश, लॉस एंजिल्स की मेयर से माफी मांगने को कहा
मध्य प्रदेश में कृषि आधारित उद्योग पर 50 प्रतिशत तक की सब्सिडी : मोहन यादव
कांग्रेस ने तेलंगाना इकाई के लिए 27 उपाध्यक्षों और 69 महासचिवों की घोषणा की
पूर्व भारतीय कप्तान एमएस धोनी आईसीसी हॉल ऑफ फेम में शामिल
साधु-संतों ने पीएम मोदी के 11 साल के कार्यकाल को सराहा, सनातन के लिए स्वर्णिम काल बताया
उत्तर प्रदेश: अमरोहा में सीजीएसटी अधीक्षक और कर अधिवक्ता रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार
Breaking News: जम्मू-कश्मीर: सांबा में जंग लगा मोर्टार मिला, निष्क्रिय किया
जम्मू-कश्मीर: पाक गोलाबारी से प्रभावित घरों के लिए केंद्र ने 25 करोड़ रुपए की अतिरिक्त सहायता राशि को मंजूरी दी
एसिडिटी को दूर करने के लिए आजमाएं बाबा रामदेव के ये टिप्स, मिलेंगे गजब के फायदे

अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद नाखुश, कही ये बड़ी बात

गौरतलब है कि न्यायालय ने शनिवार को अयोध्या में विवादित स्थल राम जन्मभूमि पर मंदिर के निर्माण का मार्ग प्रशस्त करते हुए केन्द्र सरकार को निर्देश दिया कि सुन्नी वक्फ बोर्ड को मस्जिद के निर्माण के लिए 5 एकड़ भूमि आबंटित की जाए.

गौरतलब है कि न्यायालय ने शनिवार को अयोध्या में विवादित स्थल राम जन्मभूमि पर मंदिर के निर्माण का मार्ग प्रशस्त करते हुए केन्द्र सरकार को निर्देश दिया कि सुन्नी वक्फ बोर्ड को मस्जिद के निर्माण के लिए 5 एकड़ भूमि आबंटित की जाए.

author-image
Dalchand Kumar
एडिट
New Update
अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद नाखुश, कही ये बड़ी बात

शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती( Photo Credit : फाइल फोटो)

सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण का रास्ता साफ हो गया है. कोर्ट विवादित जमीन हिंदू पक्षकारों को दे दी है. मगर देश की दो हिंदू पीठों के शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने राम जन्मभूमि पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर थोड़ी खुशी और ज्यादा नाराजगी जाहिर की है. उन्होंने कहा कि हिंदुओं के हित में फैसला देना तो सही है, लेकिन जब प्रामाणित हो गया कि विवादित जगह हिंदुओं की है तो मुस्लिमों को जमीन देने गलत है. साथ ही नया ट्रस्ट बनाने का आदेश भी उचित नहीं है.

Advertisment

यह भी पढ़ेंः रामलला को जन्मस्थली पर कानूनी अधिकार मिला, यह आनंद का क्षण- सुमित्रा महाजन

न्यूज स्टेट से खास बातचीत में शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने कहा कि बाबर के अयोध्या आने और मस्जिद बनाने के कोई प्रमाण नहीं हैं. बिना प्रमाण के मान लिया गया कि बाबर ने मस्जिद बनवाई. अब राम जन्मभूमि न्यास को दे दी है, जिससे उन्हें खुशी है. साथ ही स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने मुस्लिम पक्ष को जमीन देने के कोर्ट के फैसले पर नाराजगी जताई है. उन्होंने कहा कि मुस्लिमों को जमीन नहीं देनी चाहिए थी. शंकराचार्य ने आगे कहा कि जो बातें हमने उठाईं उसका भी उत्तर देना था. उन्होंने कहा कि कोर्ट के इस फैसले से में नाखुश हूं.

यह भी पढ़ेंःअयोध्या पर फैसला: मध्य प्रदेश में स्कूल-कॉलेजों की छुट्टी, सीएम कमलनाथ ने की शांति की अपील

गौरतलब है कि न्यायालय ने शनिवार को अयोध्या में विवादित स्थल राम जन्मभूमि पर मंदिर के निर्माण का मार्ग प्रशस्त करते हुए केन्द्र सरकार को निर्देश दिया कि सुन्नी वक्फ बोर्ड को मस्जिद के निर्माण के लिए 5 एकड़ भूमि आबंटित की जाए. प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने भारतीय इतिहास की दृष्टि से बेहद महत्वपूर्ण इस व्यवस्था के साथ ही करीब 130 साल से चले आ रहे इस संवेदनशील विवाद का पटाक्षेप कर दिया. इस विवाद ने देश के सामाजिक ताने बाने को तार तार कर दिया था. शीर्ष अदालत ने कहा कि मस्जिद का निर्माण ‘प्रमुख स्थल’ पर किया जाना चाहिए और सरकार को उस स्थान पर मंदिर निर्माण के लिए 3 महीने के भीतर एक ट्रस्ट गठित करना चाहिए.

यह वीडियो देखेंः 

ram-mandir Ram Mandir Decision madhya-pradesh Supreme Court Ayodhya Case
      
Advertisment