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Sanskrit Bharti honors 47 MP who took oath in Sanskrit
17वीं लोकसभा के सदस्य के तौर पर संस्कृत भाषा में शपथ लेने वाले सांसदों को सोमवार को संस्कृतभारती की तरफ से यहां सम्मानित किया जाएगा. 17वीं लोकसभा में कुल 47 सांसदों ने संस्कृत में शपथ लिया था. संस्कृतभारती के दिल्ली प्रांत के मंत्री कौशल किशोर तिवारी ने बताया, "संस्था के प्रयासों से पहली बार इतनी बड़ी संख्या (47) में सांसदों ने संस्कृत भाषा में शपथ ली है. इसलिए संस्था ने इन सभी सांसदों को सम्मानित करने का निर्णय लिया है, ताकि और भी लोग संस्कृत की तरफ प्रेरित हों."
संस्कृत भारती देश भर में संस्कृत भाषा को बढ़ावा देने के लिए काम करती है. तिवारी ने बताया कि केंद्रीय मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने पिछली बार भी संस्कृत में शपथ लिया था, और इस बार भी उन्होंने संस्कृत में शपथ लिया है, इसलिए संस्था उन्हें विशेष रूप से सम्मानित करेगी. उन्होंने कहा कि समारोह में उन सांसदों को भी आमंत्रित किया गया है, जिन्होंने इसके पहले संस्कृत में शपथ लिया था, जिसमें सुषमा स्वराज भी शामिल हैं. तिवारी ने कहा कि संस्था के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रो. भक्त वत्सल और राष्ट्रीय संगठन मंत्री दिनेश कामत समारोह में विशेष रूप से उपस्थित रहेंगे.
उल्लेखनीय है कि 17वीं लोकसभा में हिंदी में करीब 210, अंग्रेजी में करीब 54 और संस्कृत में 47 सांसदों ने शपथ ली थी. संस्कृत में शपथ लेने वालों में प्रमुख रूप से डॉ. हर्षवर्धन, अश्विनी चौबे, प्रताप सारंगी, साध्वी प्रज्ञा ठाकुर, श्रीपद येशो नाईक, मीनाक्षी लेखी, रमेश चंद्र बिधूड़ी, सीआर पाटील, वीरेंद्र सिंह, साक्षी महाराज और निशिकांत दूबे शामिल हैं. 16वीं लोकसभा की तुलना में 17वीं लोकसभा में अंग्रेजी में शपथ लेने वालों की संख्या तेजी से घटी है, जो कि 114 के मुकाबले 54 रह गई. इसका सबसे ज्यादा लाभ तमिल, बांग्ला एवं अन्य क्षेत्रीय भाषाओं को मिला. तमिल में पिछली लोकसभा के सात के मुकाबले इस बार 39 सांसदों ने शपथ ली. बांग्ला में 22 के मुकाबले 29 सासंदों ने शपथ ली.
Source : IANS