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परमबीर की सचिन वाजे के साथ बैठक को कांग्रेस ने बताया साजिश, जांच की मांग

परमबीर की सचिन वाजे के साथ बैठक को कांग्रेस ने बताया साजिश, जांच की मांग

Updated on: 29 Nov 2021, 10:55 PM

मुंबई:

महाराष्ट्र कांग्रेस ने सोमवार को मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह और उनके पूर्व कनिष्ठ, बर्खास्त सिपाही सचिन वाजे के बीच एक कथित बैठक को साजिश करार देते हुए इसकी उच्चस्तरीय जांच की मांग की।

पार्टी के अनुसार, दोनों कई राज्यों और केंद्रीय एजेंसियों द्वारा कई मामलों में आरोपी हैं। दोनों ने आज दोपहर में एक बैठक की। इससे कुछ देर पहले पहले वे न्यायमूर्ति के.यू. चांदीवाल की अध्यक्षता में महाराष्ट्र सरकार द्वारा गठित जांच आयोग के सामने पेश हुए थे।

राज्य कांग्रेस के प्रवक्ता अतुल लोंधे ने एक बयान में कहा कि सिंह-वाजे बैठक नियम का उल्लंघन करती है। नियम में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि किसी भी जांच आयोग के सामने पेश होने वाले किसी भी दो आरोपी व्यक्तियों को इस तरह से मिलने की अनुमति नहीं दी जा सकती।

उन्होंने सवाल उठाया, वे दोनों क्यों मिले हैं? इस बैठक की अनुमति किसने दी और इसका उद्देश्य क्या था? उन्होंने क्या चर्चा की, क्योंकि वे दोनों विभिन्न एजेंसियों द्वारा कई मामलों में आरोपी हैं।

सिंह और वाजे दोनों पर अलग-अलग एजेंसियों, जैसे एनआईए, सीबीआई, ईडी और मुंबई पुलिस द्वारा जबरन वसूली, भ्रष्टाचार, साजिश, हत्या, आतंक आदि से संबंधित विभिन्न मामलों की जांच चल रही है।

सिंह को मुंबई की एक अदालत द्वारा घोषित अपराधी करार दिया गया था। मुंबई और ठाणे अदालतों से गिरफ्तारी के जमानती और गैर-जमानती वारंट थे, जबकि वाजे और अन्य आरोपी एसयूवी से संबंधित हत्या, आतंक और साजिश के आरोपों का सामना कर रहे हैं। इस साल फरवरी-मार्च में उद्योगपति मुकेश अंबानी के घर के बाहर खड़ी एसयूवी में विस्फोटक मिले थे और उसके बाद उस कार के मालिक मनसुख हिरन की हत्या हो गई।

राज्य के गृहमंत्री दिलीप वालसे-पाटिल से सिंह-बाजे बैठक की गहन जांच का आदेश देने का आग्रह करते हुए लोंधे ने यह जानना चाहा कि क्या किसी उच्चस्तरीय राजनेता या अधिकारी ने संबंधित एजेंसियों द्वारा चल रही संवेदनशील जांच को पटरी से उतारने की दृष्टि से बैठक करने की साजिश रची थी।

संयोग से, परमबीर सिंह पिछले 6 महीनों से लापता था, लेकिन पिछले गुरुवार को मुंबई में फिर से सामने आया। इसके बाद वह अपने खिलाफ विभिन्न पुलिस मामलों की जांच में शामिल हो गया और सोमवार को न्यायमूर्ति चांदीवाल की सुनवाई में भी शामिल हुआ, यहां तक कि उसे छह दिसंबर तक गिरफ्तारी से पहले अंतरिम सुरक्षा भी दी गई है।

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.