मोदी सरकार का नाम लिये बिना ही कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने निशाना साधा है। उन्होंने जनता के नाम एक खुला पत्र लिखा है और कहा है कि गणतंत्र दिवस के मौके पर स्वतंत्रता, न्याय बराबरी और भाई चारा को बचाए रखने की कसम लें।
इसके साथ ही राहुल गांधी ने कहा है कि संविधान के संकल्पों की रक्षा करने की आज ज़रूरत ज्यादा है।
सामान्य तौर पर किसी विपक्ष के नेता की तरफ से इस तरह का पत्र कम ही लिखा जाता है। सोशल मीडिया पर उन्होंने अपने पत्र को पोस्ट किया है और कहा है कि हमें देश के संविधान में सभी नागरिकों के दिये गए अधिकार को याद रखना चाहिये। साथ ही देशवासियों को गणतंत्र दिवस की शुभकामनाएं भी दी
उन्होंने लिखा है, 'संविधान जो हमारे गणतंत्र का मूल है और नागरिकों की रक्षा करता है और वो जब भी खतरे में पड़े तो उसकी रक्षा करने की हमें इस गणतंत्र दिवस पर कसम लेनी चाहिये।'
इसके साथ ही उन्होंने देशवासियों को बधाई देते हुए कहा, 'हमें गणतंत्र दिवस के मौके पर अपने संविधान में स्वतंत्रता, न्याय बराबरी और भाई चारा को बचाए रखने का जो संकल्प लिया था, उसे याद रखें।'
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उन्होंने कहा है, 'सभी को इस युवा राष्ट्र के इतिहास में पहले की अपेक्षा आज इन संकल्पों की रक्षा करना चाहिये।'
सबके लिये न्याय का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि संविधान में सबको न्याय देने के संकल्प को छेड़ा नहीं जा सकता है। ये गरीबों, कमज़ोरों और दबे हुए लोगों की आवाज़ उठाने का अधिकार और न्याय देता है।
उन्होंने कहा है कि सभी को बिना डरे अपने विचार रखने की स्वतंत्रता होनी चाहिये।
उन्होंने कहा, 'हम इस गणतंत्र के नागरिक हैं और हमारी ताकत अलग-अलग धर्म, संस्कृति और विचारों पर आधारित है।'
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उन्होंने कहा कि सबको समान अधिकार दिये जाने चाहिये चाहे वो किसी भी जाति, धर्म, लिंग या आर्थिक स्थिति का व्यक्ति हो। सबके साथ समान व्यवहार हो ये हमारे व्यवहार में दिखना भी चाहिये।
उन्होंने कहा, 'हमारी पृष्ठभूमि क्या है इससे फर्क नहीं पड़ता, लेकिन हमे एक धागा पिरोता है वो ये कि हम इस देश के नागरिक हैं।'
इससे पहले राहुल गांधी ने पद्मावत फिल्म को लेकर चल रहे हिंसक प्रदर्शनों के लिये बीजेपी को दोषी ठहराया था।
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Source : News Nation Bureau