अमृतसर में निरंकारी भवन पर हुए ग्रेनेड हमले के एक आरोपी को पुलिस ने बुधवार को गिरफ्तार कर लिया. पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने हमले में इस्तेमाल किए गए ग्रेनेड की तस्वीर दिखाई और कहा कि पाक समर्थित आतंकी और आईएसआई राज्य में सक्रिय हैं. पंजाब के अमृतसर जिले के राजसांसी इलाके में 18 नवंबर को निरंकारी सत्संग में चेहरा ढक कर मोटरसाइकिल से पहुंचे दो युवकों ने ग्रेनेड फेंक दिया था. इस हमले में तीन लोगों की मौत हुई थी, जबकि 20 से अधिक घायल हुए थे. पंजाब पुलिस ने इस घटना को आतंकी हमला करार दिया था.
सीएम अमरिंदर सिंह ने कहा, 'इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है. यह पूरी तरह से आतंकवाद का मामला है. उन्हें इसलिए टारगेट किया गया था क्योंकि वे आसान टारगेट थे. हमारे पास निशाने पर बने दूसरे संगठनों के बारे में भी जानकारी थी लेकिन हमने सावधानी बरती और उसे रोक दिया.'
उन्होंने आरोपी की तस्वीर दिखाते हुए कहा, 'मुझे घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि घटना में शामिल दो में से एक व्यक्ति को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. 26 साल के बिक्रमजीत सिंह को गिरफ्तार किया गया है. दूसरे व्यक्ति को भी जल्द गिरफ्तार किया जाएगा, उसका नाम अवतार सिंह है.'
हमले में इस्तेमाल ग्रेनेड के बारे में उन्होंने बताते हुए कहा कि यह ऐसा ग्रेनेड है जो कश्मीर में सुरक्षा बलों के खिलाफ इस्तेमाल किया जाता है. इसे पाकिस्तान के द्वारा लाइसेंस प्राप्त फैक्ट्री में बनाया गया था और पैलेट से भरा गया था.
उन्होंने कहा कि इसका मास्टरमाइंड इंटर सर्विसेस इंटेलीजेंस (आईएसआई) है. ये (हरमीत सिंह पीएचडी उर्फ हैप्पी) सिर्फ दलाल हैं जो जिनका इस्तेमाल किया जा रहा है.
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यह ग्रेनेड हमला अमृतसर से करीब 15 किलोमीटर दूर स्थित आदिलवाल गांव में निरंकारी पंथ के सत्संग भवन में हुआ था. यह जगह अमृतसर के ग्रामीण इलाके में स्थित है, जो कि गुरु रामदास जी अमृतसर अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे से तीन किलोमीटर दूर है.
पुलसि ने बताया कि घायलों को अमृतसर के अस्पतालों में भर्ती कराया गया था. सभी पीड़ित आसपास के गांवों के निरंकारी अनुयायी हैं, जो रविवार को साप्ताहिक धर्म सभा के लिए जुटे थे.
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मुख्यमंत्री ने हमलावर की गिरफ्तारी के लिए उनके बारे में जानकारी देने पर 50 लाख रुपये इनाम के तौर पर देने की भी घोषणा की थी. राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) और फोरेंसिक विशेषज्ञ जांच में मदद कर रहे हैं.
इससे पहले हमले के दिन ही पंजाब पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ तुरंत मौके पर पहुंचे पुलिस महानिदेशक सुरेश अरोड़ा ने स्वीकार किया था कि यह एक आतंकी हमला था.
Source : News Nation Bureau