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42 शहीदों का बदला लेने की मांग जोरों पर
जम्मू और कश्मीर के पुलवामा में गुरूवार को हुए आतंकी हमले में CRPF के 42 शहीद हो गए. पूरे देश को हिलाकर रख देने वाले इस हमले को पाकिस्तान के आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने अंजाम दिया. देश के अलग-अलग हिस्सों के जवानों ने भारत माता की सुरक्षा में अपने प्राण गंवा दिए. हमले के बाद से पूरे देश में आक्रोश का माहौल है और पाकिस्तान से बदला लेने की मांग जोरों पर है. केंद्र सरकार भी इस हमले को लेकर काफी गंभीर दिखाई दे रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर गृहमंत्री राजनाथ सिंह समेत तमाम मंत्रियों ने आतंकियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के संकेत दिए हैं. इतना तो तय है कि भारत की ओर से अब पूरी प्लानिंग करने के बाद ही आतंकियों पर प्रहार किया जाएगा. इसमें भारत की ओर से किसी भी प्रकार की कोई जल्दबाजी की गुंजाइश नहीं है, क्योंकि इससे भारत को ही नुकसान पहुंच सकता है. इसलिए संभव है कि भारत 42 जवानों की शहादत का बदला लेने के लिए पहले पूरी तरह से तैयारी करेगा, जिसके बाद ही पाकिस्तान और वहां पल रहे आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
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सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक गृहमंत्री राजनाथ सिंह पुलवामा हमले में जवानों की शहादत पर काफी आक्रोशित हैं. गृह मंत्रालय के सूत्रों ने बताया कि राजनाथ सिंह को पहले कभी इतना आक्रोशित नहीं देखा गया है. राजनाथ सिंह ने कल दिए एक बयान में कहा था, ''हम अपनी जिम्मेदारियों को अच्छी तरह समझते हैं और देश की जनता को यह भरोसा देते हैं कि इस घटना जो भी कार्रवाई करना आवश्यक है, उसे करने में हम कोई कसर नहीं छोड़ेंगे.''
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सूत्रों से मिल रही जानकारी के मुताबिक CRPF के काफिले पर हमला करने वाले जैश-ए-मोहम्मद की तबाही तय दिखाई दे रही है. इसके लिए पूरी प्लानिंग के बाद भावुलपुर स्थित जैश के मुख्यालय सहित उनके ट्रेनिंग कैंप और लॉन्च पैड पर जबरदस्त कार्रवाई की जा सकती है. पूरे मामले में जनरल बिक्रम सिंह का कहना है कि आतंकियों और पाकिस्तान के खिलाफ क्या, कैसे और कब कार्रवाई करनी है, इसका फैसला सरकार को ही करना होगा. फिलहाल देश की जनता में हमले को लेकर काफी गुस्सा देखने को मिल रहा है. हमले के बाद गुस्से से लाल रक्षा विशेषज्ञ मेजर जनरल (रिटायर) जीडी बख्शी ने सख्त लहजे में कहा कि हमें पाकिस्तान को उसी की भाषा में जवाब देना होगा.
Source : Sunil Chaurasia