जम्मू-कश्मीर में करीब तीन साल पुरानी बीजेपी-पीडीपी सरकार गिर गई है। बीजेपी के समर्थन वापस लेने के बाद महबूबा को अपने पद से इस्तीफा देने पड़ा।
हालांकि 2015 में हुए विधानसभा चुनाव में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) प्रमुख महबूबा ने अब साफ कर दिया है कि उनकी पार्टी अब सरकार नहीं बनाएगी।
इससे पहले कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस ने भी राज्य में सरकार बनाने या ऐसी किसी कोशिश से इनकार कर दिया है। ऐसे में राज्य में अब राष्ट्रपति शासन लगना तय है। अब राज्य में राज्यपाल एन एन वोहरा शासन प्रमुख होंगे और राज्य के प्रशासनिक अधिकारी अब सीधे उनके आदेश के तहत काम करेंगे।
सरकार गिरने के बाद दोबारा सरकार बनाने को लेकर महबूबा ने कहा, 'न तो हम किसी को समर्थन देंगे और न ही किसी से समर्थन लेंगे। इससे साफ हो गया है कि अब पीडीपी सरकार नहीं बनाएगी।'
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वहीं राज्य में सरकार बनाने को लेकर तीसरी सबसे बड़ी पार्टी नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला भी साफ कर चुके हैं कि उनकी पार्टी पीडीपी से कोई गठबंधन नहीं करेगी।
उन्होंने कहा, 'मैंने राज्यपाल से बात की है और उन्हें कहा है कि किसी बी पार्टी को सरकार बनाने के लिए बहुमत नहीं है। उन्हें राज्य में राज्यपाल शासन लगाना चाहिए।'
वहीं कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि पीडीपी से गठबंधन का कोई इरादा नहीं है और ऐसा अभी नहीं उठना चाहिए।
गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर में साल 2015 में हुए विधानसभा चुनाव में पीडीपी को सबसे ज्यादा 28 बीजेपी को 25, कांग्रेस को 12 और नेशनल कॉन्फ्रेंस को 15 सीटें मिली थी। राज्य में विधानसभा की कुल 89 सीटें हैं।
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Source : News Nation Bureau