खाने में नहीं खाती लहसून-प्याज, जाने कैसा है नई राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का गांव?
President Draupadi Murmu : देश की राष्ट्रपति चुने जाने के बाद द्रौपदी मुर्मू के गांव अपबेड़ा में जश्न का माहौल है. उनका गांव ओडिसा की राजधानी भुवनेश्वर से 2500 किलोमीटर पर मयूरभंज जिला पड़ता है.
नई दिल्ली:
President Draupadi Murmu : देश की राष्ट्रपति चुने जाने के बाद द्रौपदी मुर्मू के गांव ( president draupadi murmu village in odisha ) अपरबेड़ा में जश्न का माहौल है. उनका गांव ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर से 2500 किलोमीटर पर मयूरभंज जिला पड़ता है. इसी जिले में उनका गांव अपरबेड़ा भी है. गांव में जश्न की एक वजह यह भी है कि देश में पहली बार एक आदिवासी बाहुल्य इलाके से जुड़ी महिला देश की राष्ट्रपति चुनी गई हैं. मुर्मू के राष्ट्रपति चुने जाने की खुशी में दावतों का दौर शुरू हो गया है. राष्ट्रपति मुर्मू के भाई तारिणीसेन टुडू भी बहन के राष्ट्रपति बनने खुशी मना रहे हैं. टुडू कहते हैं कि पिछले दो से गांव में बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है.
भोजन में नहीं पसंद लहसून और प्याज
बहन मुर्मू के बारे में जानकारी देते हुए तारिणीसेन बताते हैं कि उनको खाने में सादा भोजन पसंद है. इसलिए दावत में भी उनकी पसंद का खाना ही बनवाया जा रहा है. टु़डू ने बताया कि द्रौपदी मुर्मू प्याज और लहसून से बना खाना नहीं खाती हैं. तारिणीसेन कहते हैं कि उनके परिवार में सबसे बड़ी मुर्मू ही हैं. मुर्मू विपरीत परिसि्थितियों में पली पढ़ी हैं. बड़ी होने के नाते परिवार की पूरी जिम्मेदारी भी उन्ही पर रही है. मुर्मू अपने गांव व आसपास के इलाके को अपने परिवार की तरह ही समझती हैं. टुडू बताते हैं कि मां और पिता जी के निधन के बाद दीदी ने हमें कभी उनकी कमी नहीं महसूस होने दी. बड़े भाई की मृत्यु के बाद दीदी ने न केवल भाभी और उनके बच्चों का ख्य़ाल रखा, बल्कि पूरे परिवार को एक सूत्र में बांधकर रखा. द्रौपदी मुर्मू के भाई बताते हैं कि उनका परिवार गांव में ही रहता है और खेती-बाड़ी करता है. टु़डू कहते हैं कि वह एक बार लालकिला और संसदभवन देख चुके हैं और अब राष्ट्रपति भवन देखना चाहते हैं.
जानें कैसा है द्रौपदी मुर्मू का गांव
ओडिसा की राजधानी भुवनेश्वर से 2500 किलोमीटर पर मयूरभंज जिला में पड़ने वाले द्रौपदी मुर्मू के गांव अपरबेड़ा की आबादी का एक बड़ा तबका सेना में है. जबकि अधिकांश लोग बीएसएफ और सीआरपीएफ जैसे बलों में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. गांव सब मुर्मू को दीदी कहकर पुकारते हैं, जबकि इलाके में उनको द्रौपदी मुर्मू के नाम से ही जाना जाता है.
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
धर्म-कर्म
-
Akshaya Tritiya 2024: 10 मई को चरम पर होंगे सोने-चांदी के रेट, ये है बड़ी वजह
-
Abrahamic Religion: दुनिया का सबसे नया धर्म अब्राहमी, जानें इसकी विशेषताएं और विवाद
-
Peeli Sarso Ke Totke: पीली सरसों के ये 5 टोटके आपको बनाएंगे मालामाल, आर्थिक तंगी होगी दूर
-
Maa Lakshmi Mantra: ये हैं मां लक्ष्मी के 5 चमत्कारी मंत्र, जपते ही सिद्ध हो जाते हैं सारे कार्य