सोशल साइट्स पर फेक कंटेंट परोसने को लेकर नकेल कसने की तैयारी
देश में आग लगाने वाले भड़काऊ भाषण, फेक न्यूज़ फैलाने और प्लानिंग करके एजेंडा के तहत किसी भी तरह के कंटेंट पर इसे फैलाने और इसके परिणाम की जिम्मेदारी अब सोशल मीडिया कंपनियों को भी भुगतनी होगी.
नई दिल्ली:
देश में आग लगाने वाले भड़काऊ भाषण, फेक न्यूज़ फैलाने और प्लानिंग करके एजेंडा के तहत किसी भी तरह के कंटेंट पर इसे फैलाने और इसके परिणाम की जिम्मेदारी अब सोशल मीडिया कंपनियों को भी भुगतनी होगी. सरकार सोशल साइट्स पर ऐसे कंटेंट परोसने को लेकर नकेल कसने की तैयारी में है. ट्विटर,फेसबुक, इंस्टाग्राम, व्हाट्सएप जैसे तमाम एप और सोशल साइट्स पर केंद्र सरकार नकेल कसने की तैयारी में है. अभी तक भड़काऊ भाषणों,आपत्तिजनक कंटेंट, जिससे किसी की भावनाएं आहत होती है. उस पर कार्रवाई सिर्फ उस अकाउंट्स और उससे जुड़े लोगों पर होती थी लेकिन सूत्र बता रहे हैं कि ऐसे कई अकाउंट्स पर सोशल मीडिया कंपनियां कार्रवाई निष्पक्ष तरीके से नहीं कर रही हैं.
इसके चलते सरकार खुद ऐसे अकॉउंट को ब्लॉक करने के आदेश जारी करती रही है, इसलिए अब केंद्र सरकार इसपर सख्त होकर सोशल मीडिया कंपनियों पर भी कार्रवाई करने की योजना तैयार कर रही है.
इस मामले पर सरकार ने अभी तक ट्विटर पर ऐसे कंटेंट फैलाने वाले करीब 4 हजार अकाउंट्स को ब्लॉक करने के आदेश जारी कर चुका है जिसे ट्विटर से हटा दिया गया लेकिन अभी भी हजारों ऐसे ट्विटर अकाउंट्स है जहां नफ़रती कंटेंट परोसा जा रहा है और इसपर केंद्र सरकार नकेल कसने की तैयारी कर चुकी है.
ट्विटर पर 4 हज़ार अकॉउंट, फेसबुक के करीब 10 हज़ार, इंस्टाग्राम के करीब 2800 अकाउंट्स पर कार्यवाई हो चुकी है लेकिन अभी भी तमाम ऐसे अकाउंट्स चल रहे हैं या दुबारा खोले जा रहे हैं, जिनपर सोशल मीडिया कंपनियां कार्यवाई नहीं कर रही थी. इसके चलते मंत्रालय अब सोशल साइट्स कंपनियों पर सख्त रुख अपनाने के लिए तैयार है.