इमरान खान (फाइल फोटो)
जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सीआरपीएफ के काफिले पर हुए आतंकवादी हमले के बाद दोनों देशों के बीच बढते तनाव और भारत के संभावित कार्रवाई की आशंका के मद्देनजर पाकिस्तान ने ‘आपदा प्रबंधन प्रकोष्ठ’ (Disaster management cell) का गठन कर दिया है. पुलवामा में पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के किए गए हमले में 14 फरवरी को सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए थे.
द एक्सप्रेस ट्रिब्यून में शनिवार को प्रकाशित खबर के मुताबिक, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने कहा कि यह प्रकोष्ठ सीमा पर हालात और कूटनीतिक संबंधों के बारे में सभी पक्षकारों को अद्यतन सूचना देगा. फैसल ने कहा कि विदेश मंत्रालय की ओर से गठित यह प्रकोष्ठ बिना किसी छुट्टी के पूरे सप्ताह काम करेगा.
पाकिस्तान पर भारत की इकोनॉमिकल स्ट्राइक
पाकिस्तान पर आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई को लेकर भारत सरकार ने दबाव बनाने के लिए कई बड़े फैसले लिए हैं. हमले के तुंरत बाद पहले भारत ने पाकिस्तान से मोस्ट फेवर्ड नेशन का दर्जा छीन लिया और उसके बाद पाकिस्तान से आने वाले सामान पर भी 200 फीसदी इंपोर्ट ड्यूटी लगा दी. इस फैसले के बाद वाघा अटारी बॉर्डर पर पाकिस्तान की तरफ से आने वाले सामानों के ट्रकों की लंबी लाइन लग गई.
इंपोर्ट ड्यूटी इतने बढ़ जाने के बाद पाकिस्तान के कारोबारी बेहद परेशान हैं क्योंकि अब उनके लिए भारत माल भेजना घाटे का सौदा बन गया है. उदाहरण के लिए आप इसे ऐसे समझ सकते हैं कि अगर किसी ट्रक पर पाकिस्तान की तरफ से 15 लाख रुपये का कोई सामान लदा है तो उसे भारत में प्रवेश कराने के लिए पाकिस्तान के उस कारोबारी को 30 लाख रुपये इंपोर्ट ड्यूटी देनी पड़ेगी
Source : News Nation Bureau