भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ओबीसी मोर्चा के राष्ट्रीय महामंत्री और बिहार भाजपा के प्रवक्ता डॉ. निखिल आनंद ने मुंबई के क्रूज ड्रग एपिसोड के बाद हो रही राजनीति पर सत्तारूढ़ पार्टी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि सुशांत सिंह राजपूत के मौत मामले में भी सत्ता पक्ष के नेता प्रवक्ता बन गए थे, इस मामले में भी वे प्रवक्ता बने बैठे हैं।
निखिल आनंद गुरुवार को कांग्रेस, एनसीपी, शिवसेना और महाराष्ट्र सरकार को आड़े हाथों लेते हुए आरोप लगाया कि नारकोटिक्स एक्ट के तहत प्रतिबंधित ड्रग्स के दुरुपयोग के मामले में आर्यन खान के पकड़े जाने के बाद से वही लोग बेचैन हैं, जिन्होंने दिशा सालियन और सुशांत सिंह राजपूत की हत्या को आत्महत्या घोषित करने लिए सबूतों को मिटाने का काम किया था।
उन्होंने कहा कि अगर सबूतों से छेड़छाड़ कर तथ्यों को खत्म नहीं किया जाता और गवाहों को डरा- धमका कर शांत नहीं कराया जाता तो दिशा सालियन और सुशांत सिंह राजपूत के मामले में सीबीआई कब की बड़े नाम वाले गुनाहगारों के गिरेबान तक पहुंच गई होती। उन्होंने कहा कि अब तो साफ लगता है कि इन दोनों मामले में शामिल लोग एक ही गिरोह या सिंडिकेट के सदस्य हैं।
भाजपा नेता ने कहा, बॉलीवुड के ड्रग माफिया, हवाला कारोबारी, आपराधिक गिरोह और अंडरवल्र्ड गठजोड़ से जुड़े लोगों के आधिकारिक प्रवक्ता के तौर पर सुशांत मामले में शिवसेना नेता संजय राऊत सामने आए थे और इस बार ड्रग एपिसोड में एनसीपी नेता नवाब मलिक सामने आए हैं।
उन्होंने आगे कहा, सुशांत मामले में महाराष्ट्र सरकार और मुंबई पुलिस ने सीबीआई के खिलाफ स्टैंड लिया था और अब ड्रग मामले में एनसीबी के खिलाफ स्टैंड ले रही है। सुशांत मामले में उस वक्त संजय राऊत ने सुशांत और उनके परिवार के चरित्रहनन की मुहिम चलाई थी और अभी ड्रग मामले में नवाब मालिक ने अधिकारी समीर वानखेड़े और उनके परिवार के खिलाफ चरित्रहनन की मुहिम चलाई है।
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Source : IANS