बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने सोमवार को पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन स्कीम पर वर्चुअल रीजनल कॉन्क्लेव का आयोजन किया।
बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) के अध्यक्ष प्रियांक कानूनगो ने सोमवार को पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन स्कीम पर वर्चुअल रीजनल में कहा कि सम्मेलन का उद्देश्य सभी हितधारक विभागों द्वारा निभाई जा रही भूमिकाओं को संवेदनशील बनाना है। उन्होंने उल्लेख किया कि केंद्र सरकार उन बच्चों के अभिभावक की भूमिका निभा रही हैं जो अनाथ हो गए हैं। उन्हें शैक्षिक सहायता, स्वास्थ्य देखभाल, छात्रवृत्ति आदि के साथ 23 साल तक की सुरक्षा प्रदान की जाएगी। देशभर के सभी जिलों में ऐसे बच्चे हैं और उन बच्चों को पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना से जोड़ा जाए ताकि इन बच्चों को योजना का पूरा लाभ मिल सके।
वहीं महिला और बाल विकास मंत्रालय के सचिव इंदेवर पांडे ने उल्लेख किया कि पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना जिसे 29 मई, 2021 को शुरू किया गया था, जिसमें वित्तीय सहायता, बोडिर्ंग और लॉजिंग, शिक्षा और छात्रवृत्ति सहित 4 घटक शामिल हैं। साथ ही स्वास्थ्य बीमा की सुविधा भी दी गई है। उन्होंने योजना का विस्तृत विवरण करते हुए इंदेवर पांडे ने पूर्वी और उत्तर पूर्वी क्षेत्र, पश्चिमी क्षेत्र, उत्तरी क्षेत्र और दक्षिणी क्षेत्र के लिए 4 क्षेत्रीय सम्मेलनों के आयोजन में एनसीपीसीआर के प्रयासों की सराहना की।
गौरतलब है कि पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना के विभिन्न पहलुओं के बारे में जागरूकता को बढ़ावा देने के लिए, राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने 4 आभासी क्षेत्रीय सम्मेलन आयोजित किए। पीएम केयर्स फॉर चिल्ड्रन योजना भारत के प्रधानमंत्री द्वारा 29 मई 2021 को उन बच्चों के लिए व्यापक सहायता प्रदान करने के लिए शुरू की गई थी, जिन्होंने अपने माता-पिता या कानूनी अभिभावकों या दत्तक माता-पिता या जीवित माता-पिता दोनों को कोविड-19 महामारी से खो दिया है। यह योजना स्वास्थ्य बीमा के माध्यम से ऐसे बच्चों की भलाई को सक्षम बनाती है, उन्हें शिक्षा के माध्यम से सशक्त बनाती है, और उन्हें वित्तीय सहायता के साथ आत्मनिर्भर अस्तित्व के लिए तैयार करती है। महिला और बाल विकास मंत्रालय इस योजना का संचालन कर रहा है, जो एक ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से बच्चों की पहचान, पंजीकरण और समर्थन करने के लिए प्रौद्योगिकी का लाभ उठा रही है।
अरुणाचल प्रदेश, असम, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम, त्रिपुरा, बिहार, झारखंड, ओडिशा, पश्चिम बंगाल और राजस्थान, गुजरात के राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों को कवर करने वाले उत्तर पूर्वी और पूर्वी क्षेत्र के लिए वर्चुअल कॉन्क्लेव, महाराष्ट्र, गोवा, दादरा और नगर हवेली, दमन और दीव, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ का आयोजन 22 अप्रैल को किया गया था।
इसके बाद 23 अप्रैल को जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, चंडीगढ़, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और आंध्र प्रदेश सहित दक्षिणी क्षेत्र के राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों सहित उत्तरी क्षेत्र के राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों के साथ वर्चुअल कॉन्क्लेव का आयोजन किया गया था। तेलंगाना, कर्नाटक, तमिलनाडु, केरल, लक्षद्वीप, अंडमान और निकोबार द्वीप और पुडुचेरी।
डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.
Source : IANS