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30 करोड़ रुपये का हेलीकॉप्टर 4 करोड़ में बेचने को तैयार राजस्थान सरकार

30 करोड़ रुपये का हेलीकॉप्टर 4 करोड़ में बेचने को तैयार राजस्थान सरकार

Updated on: 27 Aug 2021, 06:05 PM

जयपुर:

राजस्थान सरकार द्वारा 2005 में 30 करोड़ रुपये में खरीदा गया अगस्ता हेलीकॉप्टर अब राज्य सरकार के लिए बोझ बन गया है।

इस हेलिकॉप्टर को बेचने के लिए कोई खरीदार नहीं मिलने के कारण राज्य सरकार अब इसे मुश्किल से 4 करोड़ रुपये में बेचने के लिए तैयार है।

सरकारी सूत्रों के अनुसार, नवंबर 2011 में तत्कालीन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और अन्य के साथ सफर के दौरान तकनीकी गड़बड़ी विकसित होने के बाद से हेलिकॉप्टर को जिंक्सड (अभाग्य या मनहूस) के रूप में लेबल कर दिया गया है। तब से इसका उपयोग नहीं किया गया है।

सरकारी अधिकारियों ने पुष्टि की है कि अब, यह राजस्थान सरकार के लिए सिरदर्द बन गया है, क्योंकि इसे बेचने के 11 प्रयासों के बाद भी, हेलिकॉप्टर को कोई लेने वाला नहीं मिल पा रहा है।

हाल ही में मुख्य सचिव निरंजन आर्य ने एक उच्च स्तरीय बैठक में अगस्ता हेलीकॉप्टर की फिर से नीलामी करने का निर्णय लिया और संबंधित अधिकारियों को इस संबंध में नए प्रस्ताव प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया।

हालांकि सरकार को आज तक कोई खरीदार नहीं मिला है। यह हेलीकॉप्टर 2011 से जयपुर के स्टेट हैंगर में खड़ा है और तेजी से कबाड़ में तब्दील हो रहा है।

इसकी बिक्री के लिए पुजरें और औजारों के साथ अब नई निविदाएं आमंत्रित की जा रही हैं। नागरिक उड्डयन निदेशालय पहले भी कई बार हेलिकॉप्टर बेचने में नाकाम रहने के बाद इसकी कीमत 4.5 करोड़ रुपये तय कर चुका है।

2005 में राजस्थान की मुख्यमंत्री के रूप में वसुंधरा राजे के पहले कार्यकाल के दौरान हेलीकॉप्टर की खरीद की गई थी।

2011 में, गहलोत के साथ एक उड़ान के दौरान तकनीकी खराबी के बाद इसे संचालन से बाहर कर दिया गया।

अधिकारियों ने कहा कि तब से हेलिकॉप्टर को मनहूस की तरह माना जाता है, क्योंकि इसने गहलोत की जान जोखिम में डाल दी थी।

इतालवी फर्म अगस्ता वेस्टलैंड से 30 करोड़ रुपये की लागत से दो इंजन वाला ए109ई पावर हेलीकॉप्टर खरीदा गया था।

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.