New Update
/newsnation/media/post_attachments/images/2019/08/10/religion-70.jpg)
प्रतीकात्मक तस्वीर
0
By clicking the button, I accept the Terms of Use of the service and its Privacy Policy, as well as consent to the processing of personal data.
Don’t have an account? Signup
प्रतीकात्मक तस्वीर
तत्काल तीन तलाक, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के बाद अब मोदी सरकार धर्मांतरण के खिलाफ बिल ला सकती है. सरकार अगले सत्र में धर्मांतरण को रोकने के लिए बिल लाने के बारे में विचार कर रही है. बीजेपी शुरू से ही धर्मांतरण के खिलाफ अभियान चलाती रही है. संसद में कई बार पार्टी नेता इस मुद्दे को उठा चुके हैं. केरल और पूर्वोत्तर के राज्यों के अलावा कई जगहों पर धर्मांतरण कई बार बड़ा मुद्दा बनता रहा है. लिहाजा, मोदी सरकार इस पर बिल लाने के बारे में सोच रही है.
यह भी पढ़ें : रॉकेट परीक्षण की वजह से 5 परमाणु वैज्ञानिकों की मौत, रेडिएशन का खतरा बढ़ा
आरएसएस के मुख्य प्रवक्ता मनमोहन वैद्य कहते हैं, किसी और तरह की रोक की बजाए एक सख्त धर्मांतरण विरोधी कानून अधिक कारगर होगा, ताकि ऐसे मामले हो ही न पाएं. मध्य प्रदेश, ओडिसा, अरुणाचल प्रदेश, छत्तीसगढ़, गुजरात और हिमाचल प्रदेश में धर्मांतरण रोकने के लिए कानून हैं. मोदी सरकार 2014 में सत्ता में आने के बाद से ही धर्मांतरण पर कानून बनाने की सोच रही है.
पिछली सरकार में संसदीय कार्य मंत्री रहे वेंकैया नायडू ने सभी दलों से धर्मांतरण पर एक राय से कानून बनाने की अपील भी की थी, लेकिन ऐसा हो नहीं पाया था. अब नई सरकार में मोदी सरकार फिर इस बिल को पेश करने की सोच रही है.
यह भी पढ़ें : जम्मू-कश्मीर पर रूस ने भारत के साथ निभाई मित्रता, अलग-थलग पड़ा पाकिस्तान
इससे पहले मोदी सरकार 2.0 ने संसद के पहले ही सत्र में कई महत्वपूर्ण विधेयकों को पास कराकर नया रिकॉर्ड बना लिया है. मोदी सरकार ने बीते सत्र में 37 बिल पास कराए हैं, जो कि एक रिकॉर्ड है. इससे पहले किसी भी सत्र में इतनी बड़ी संख्या में विधेयक पास नहीं हुए थे.
इस सत्र में तत्काल तीन तलाक विधेयक पर कानून बन गया है. इसके साथ ही जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाकर राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेश बनाने संबंधी विधेयक भी पास करा लिया है. इसके अलावा यूएपीए विधेयक को पारित कराया गया है, जिससे एनआईए को असीम शक्तियां हासिल हो गई हैं.
Source : न्यूज स्टेट ब्यूरो