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नागपंचमी पर मोदी सरकार ने छोड़ा 'मिशन कश्‍मीर का बाण', सभी विरोधी चित्‍त

जम्‍मू-कश्‍मीर को अब दिल्‍ली की तरह केंद्र शासित प्रदेश तो राज्‍य का विभाजन कर लद़्दाख को चंडीगढ़ की तरह केंद्र शासित प्रदेश बना दिया गया है.

Updated on: 05 Aug 2019, 02:09 PM

नई दिल्‍ली:

मोदी सरकार ने नागपंचमी के दिन मिशन कश्‍मीर बाण छोड़कर सभी विरोधियों को चित्‍त कर दिया है. सरकार ने ऐतिहासिक कदम उठाते हुए जम्‍मू-कश्‍मीर से अनुच्‍छेद 35A को खत्‍म कर दिया. जम्‍मू-कश्‍मीर को अब दिल्‍ली की तरह केंद्र शासित प्रदेश तो राज्‍य का विभाजन कर लद़्दाख को चंडीगढ़ की तरह केंद्र शासित प्रदेश बना दिया गया है. साथ ही घाटी को धारा 370 के जरिए जो विशेषाधिकार प्राप्‍त थे, वो खत्‍म हो गए हैं. गृह मंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के द्वारा दी गई मंजूरी को पेश किया. अमित शाह ने राज्‍यसभा में संकल्‍प पत्र पढ़ने की शुरुआत की तभी हंगामा शुरू हो गया.

गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को राज्यसभा में जम्मू-कश्मीर को लेकर दो संकल्प और दो बिल पेश किए. इसके बाद सदन में हंगामा खड़ा हो गया. अमित शाह ने कहा, लद्दाख के लोगों की लंबे समय से मांग रही है कि लद्दाख को केंद्र शासित राज्य का दर्ज दिया जाए, ताकि यहां रहने वाले लोग अपने लक्ष्यों को हासिल कर सकें.

आइए देखते हैं आज मोदी सरकार द्वारा लिए गए 5 बड़े फैसले

  • जम्‍मू कश्‍मीर से अनुच्‍छेद 370 हटाने का संकल्‍प पेश किया गया. राज्यसभा में गृहमंत्री अमित शाह ने जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने की सिफारिश की. इसके बाद राष्ट्रपति ने केंद्र सरकार की सिफारिश को मंजूरी दे दी, जिसमें जम्मू-कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा दिया गया था.
  • जम्‍मू-कश्‍मीर से आर्टिकल 35ए भी पूरी तरह खत्‍म कर दिया गया है. इसके साथ ही राज्‍य को कोई स्‍पेशल स्‍टेटस नहीं मिलेगा.
  • दो हिस्‍सों में जम्‍मू-कश्‍मीर का विभाजन किया गया. एक जम्‍मू-कश्‍मीर और दूसरा लद्दाख.
  • दोनों केंद्र शासित प्रदेश होंगे. जम्‍मू-कश्‍मीर में विधानसभा होगी.
  • लद्दाख अब बिना विधानसभा का केंद्र शासित प्रदेश होगा.