पुलिस ने मंगलवार को बताया कि ओडिशा के पिपिली इलाके के बलंगा पुलिस थाने में बीती आधी रात को भीषण विस्फोट हुआ।
पुलिस ने कहा कि थाने में मलखाना की संतरी सरोज बेहरा विस्फोट से बाल-बाल बच गई, जबकि अन्य कर्मचारी उपचुनाव ड्यूटी पर थे।
पुलिस को संदेह है कि विस्फोट विभिन्न क्षेत्रों में छापेमारी के बाद मलखाना में जब्त और जमा किए गए विस्फोटकों के बड़े जखीरे के कारण हुआ होगा।
धमाका इतना जोरदार था कि पूरा कार्यालय भवन ढह गया जबकि आग में लगभग सभी कार्यालय का सामान, दस्तावेज, और इलेक्ट्रॉनिक्स सामान जल कर राख हो गया।
सेंट्रल रेंज के आईजी नरसिंह भोला और पुरी के एसपी कंवर विशाल सिंह ने थाने का दौरा कर इसकी जांच की।
एसपी सिंह ने कहा कि विस्फोट में इमारत के सभी बिजली के उपकरण और फर्नीचर क्षतिग्रस्त हो गए है। विस्फोट में कोई चोट या हताहत नहीं हुआ है। हमने घटना की जांच शुरू कर दी है। अतिरिक्त एसपी पी. प्रधान को प्रारंभिक जांच करने और जांच से जुड़ी एक रिपोर्ट जमा करने के लिए कहा गया है।
उन्होंने कहा कि सभी दस्तावेजों और रिपोटरें का विश्लेषण करने के बाद विस्तृत और गहन जांच की जाएगी।
सिंह ने कहा कि जिला स्तरीय वैज्ञानिक और बम निरोधक दल पहले ही मौके पर पहुंच चुके हैं जबकि राज्य फोरेंसिक लैब की एक टीम भी इसकी जांच करेगी।
भोला ने कहा कि अगर कोई पुलिस अधिकारी जांच रिपोर्ट में दोषी पाया जाता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, क्योंकि वहां बहुत सारे जब्त विस्फोटक थे। इसलिए, हमें उस विशेष विस्फोटक का पता लगाना होगा जो विस्फोट का कारण बना और इसका प्रभारी कौन था।
ओडिशा पुलिस के आईजी ने कहा कि इस विस्फोट के बाद सभी पुलिस थानों को निर्देश दिया गया है कि जब्त विस्फोटक को या तो निष्क्रिय कर दिया जाए या ऐसी घटना से बचने के लिए सुरक्षित स्थान पर रखा जाए।
उन्होंने कहा कि थाना अब अस्थायी भवन से चलेगा और जल्द ही थाना प्रभारी के लिए नए भवन के निर्माण के लिए राशि मांगी जाएगी।
इस बीच, भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने घटना की निष्पक्ष जांच की मांग की। पात्रा ने कहा कि पिपिली क्षेत्र में लंबे समय से गिरोह युद्ध और बमबारी की खबरें आती रही हैं। हाल ही में, सतसंखा में भाजपा कार्यालय पर एक बम फेंका गया था, जिसकी मीडिया में खबर आई थी।
उन्होंने सवाल किया कि जहां पुलिस ही सुरक्षित नहीं है, वे लोगों की सुरक्षा कैसे सुनिश्चित कर सकते हैं?
अपनी प्रतिक्रिया में, बीजेडी के वरिष्ठ नेता और मंत्री समीर दास ने कहा कि यह संदेह था कि विस्फोट 2018 में जब्त किए गए विस्फोटकों के कारण हुआ और सौर बैटरी भी वहां संग्रहित की गई थी। दास ने कहा कि इस घटना से उपचुनाव का कोई संबंध नहीं है।
ओडिशा के पुरी जिले में पिपिली विधानसभा क्षेत्र के लिए लंबे समय से लंबित उपचुनाव 30 सितंबर को होगा। सुरम्य विधानसभा क्षेत्र के लिए उपचुनाव की आवश्यकता थी क्योंकि इसके मौजूदा बीजेडी विधायक प्रदीप महारथी की अक्टूबर 2020 में कोविड -19 के कारण मौत हो गई थी।
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Source : IANS