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भोपाल जेल ब्रेक के बाद प्रतिबंधित आतंकी संगठन सिमी के 8 आतंकियों के एनकाउंटर में मारे जाने को लेकर मध्य प्रदेश पुलिस सवालों के घेरे में है।मध्य प्रदेश के गृह मंत्री ने सफाई देते हुए कहा कि जब मुठभेड़ होती है तो पुलिस के पास गोली चलाने का कोई विकल्प नहीं होता।
When an encounter happens, police has no other option but to fire: MP HM Bhupendra Singh on unverified video of #bhopalprisonbreak encounter pic.twitter.com/kfQ3K0bvrB
— ANI (@ANI_news) October 31, 2016
हालांकि कांग्रेस, आम आदमी पार्टी और एआईएमआईएम ने एनकाउंटर को लेकर गंभीर सवाल करते हुए मामले की जांच कराए जाने की मांग की है। एनकाउंटर के वीडियो में सिमी के 5 आतंकी पहाड़ की एक चोटी पर दिखाई दे रहे हैं। पुलिस ने उन्हें चारों तरफ से घेर रखा है।
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वीडियो में सिमी के कथित आतंकियों के पास कोई हथियार नहीं दिख रहा है। पुलिस भी वायरलेस पर कहती हुई सुनी जा रही है कि पहाड़ पर खड़े पांच आतंकी उनसे बात करने की कोशिश कर रहे हैं वहीं तीन आतंकी पहाड़ के पीछे छिपे हुए है। वीडियो में जेल से भागे इन कथित आतंकियों पर पुलिस ने गोलीबारी शुरू कर दी, जिसमें आठों आतंकी मारे जाते हैं। न्यूज स्टेट इन वीडियो की सत्यता की पुष्टि नहीं करता है।
देर शाम मध्य प्रदेश पुलिस ने एऩकाउंटर को लेकर सफाई दी। भोपाल के आईजी योगेश चौधरी ने कहा, 'पुलिस ने जवाबी फायरिंग की।' उन्होंने कहा कि सिमी के आतंकी रात के करीब 2-3 बजे के बीच फरार हुए और पुलिस को 10 बजे इनकी सूचना मिली।
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चौधरी ने कहा कि मौके से 4 कट्टा और तीन चाकू मिले हैं और पुलिस ने जवाबी कार्रवाई में 45 राउंड फायरिंग की। उन्होंने कहा, 'मुठभेड़ में पुलिस के कुछ जवानों को भी चोटें आई हैं।'
उन्होंने कहा कि आतंकियों के पास कोई मोबाइल फोन नहीं मिला। एनकाउंटर पर पुलिस की पीठ थपथपाते हुए चौधरी ने कहा कि हम इस बात की जांज करेंगे कि उन्हें हथियार कहां से मिले। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने मुठभेड़ पर सवाल उठाए हैं।
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सरकारी जेल से भागे हैं या किसी योजना के तहत भगाये गये हैं ? जॉंच का विषय होना चाहिये। दंगा फ़साद ना हो प्रशासन को नज़र रखना पड़ेगा।
— digvijaya singh (@digvijaya_28) October 31, 2016
वहीं एआईएमआईएम के सुप्रीमो असदद्दीन ओवैसी ने भोपाल में सिमी के आठों आतंकी के मुठभेड़ में मारे जाने के मामले की सुप्रीम कोर्ट से जांच कराए जाने की मांग की है।
A proper and independent investigation has to be done to know that how these accused flee from the high security prison: Asaduddin Owaisi pic.twitter.com/OSJexzROOC
— ANI (@ANI_news) October 31, 2016
मुठभेड़ पर सवाल उठने के बाद मध्य प्रदेश सरकार ने जेल ब्रेक की घटना की एऩआईए से जांच कराए जाने की सिफारिश की है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि भोपाल जेल ब्रेक की घटना की जांच एऩआईए से कराए जाने की घोषणा की है।
Source : News Nation Bureau