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बासवेश्वर की मूर्ति पर श्रद्धांजलि अर्पित करते पीएम मोदी (फाइल फोटो)
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बासवेश्वर की मूर्ति पर श्रद्धांजलि अर्पित करते पीएम मोदी (फाइल फोटो)
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भले ही विदेश दौरे पर हो लेकिन उनकी नज़र कर्नाटक के चुनाव पर है। वहां के लिंगायत वोटरों को साधने के लिये ब्रिटेन की टेम्स नदी के किनारे इस समुदाय के सबसे बड़े समाज सुधारक बासवेश्वर की मूर्ति पर श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे।
आज भगवान बासवन्ना की आज जयंती है और पीएम मोदी ने ही 2015 की अपनी ब्रिटेन यात्रा के दौरान उनकी प्रतिमा का अनावरण किया था। ऐसे में बीजेपी इस मौके को खोना नहीं चाहती है और उनके जन्मदिन को भुनाने की कोशिश करेगी।
पीएम मोदी ने लंदन से ट्वीट करके कहा, 'मैं भगवान बासवेश्वर की जयंती के मौके पर नमन करता हूं। हमारे इतिहास और संस्कृति में उनका विशेष स्थान है। सामाजिक सद्भाव, भाईचारा, एकता और सहानुभूति पर उनका जोर हमेशा हमें प्रेरणा देता है। भगवान बासवेश्वर ने हमारे समाज को एक किया और ज्ञान को महत्व दिया।'
On his Jayanti, I bow to Bhagwan Basaveshwara. He has a special place in our history and culture. His emphasis on social harmony, brotherhood, unity and compassion always inspires us.
Bhagwan Basaveshwara brought our society together and gave importance to knowledge. pic.twitter.com/akJPVyuH5D
— Narendra Modi (@narendramodi) April 18, 2018
कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार ने लिंगायत समुदाय को अलग धर्म का दर्जा देकर बीजेपी के वोटबैंक में सेंध लगाने की कोशिश की है। वहीं बीजेपी भी परंपरागत वोटर रहे लिंगायत समुदाय को अपने पाले में रखना चाहती है।
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पिछले कई सालों से लिंगायत समाज बीजेपी का पारंपरिक वोटर रहा है। लेकिन सरकार का कार्यकाल पूरा होने के ठीक पहले सिद्धारमैया सरकार ने इसे अलग धर्म का दर्जा देकर बीजेपी के लिये मुश्किलें खड़ी कर दी हैं।
कांग्रेस के इस कदम से हैरान बीजेपी लगातार कांग्रेस पर हिंदू धर्म को बांटने का आरोप लगा रही है। अब दोनों ही दलों के अध्यक्ष लिंगायत वोटरों को अपने पाले में लाने के लिये लगातार लिंगायत समाज के मठों के चक्कर लगा रहे हैं।
12 मई को कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए मतदान होना है। दोनों दलों की साख दांव पर लगी है बीजेपी का पूरा जोर सिद्धारमैया सरकार को हटाकर वापसी का है। वहीं कांग्रेस के लिये सत्ता वापसी महत्वपूर्ण है। इसकी एक वजह ये भी है कि बड़े राज्यों में से कर्नाटक ही है जो उसके पास है।
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Source : News Nation Bureau