logo-image

कैलाश गहलोत मानहानि मामले में जारी समन के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचे भाजपा विधायक

कैलाश गहलोत मानहानि मामले में जारी समन के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचे भाजपा विधायक

Updated on: 15 Nov 2021, 08:35 PM

नई दिल्ली:

भाजपा विधायक विजेंद्र गुप्ता ने सोमवार को दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत द्वारा दायर एक आपराधिक मानहानि शिकायत में उनके खिलाफ जारी समन को चुनौती देते हुए हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया।

गहलोत ने दिल्ली परिवहन निगम द्वारा एक हजार लो-फ्लोर बसों की खरीद में लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों को झूठा बताते हुए गुप्ता पर केस दायर किया है।

गुप्ता की ओर से पेश अधिवक्ता पवन नारंग की दलील के बाद न्यायमूर्ति डी. एन. पटेल और न्यायमूर्ति ज्योति सिंह की पीठ मामले की सुनवाई के लिए तैयार हो गई।

गुप्ता के वकील ने सोमवार को ही मामले की तत्काल सुनवाई की मांग की। हालांकि, अदालत ने कहा कि वह इस मामले पर मंगलवार को सुनवाई करेगी।

11 अक्टूबर को राउज एवेन्यू कोर्ट के अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट रवींद्र कुमार पांडे ने पाया था कि गुप्ता ने प्रथम ²ष्टया अपराध किया था।

अदालत ने अपने आदेश में कहा था कि अभियुक्त ने प्रथम ²ष्टया भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 499/500/501 के तहत दंडनीय अपराध किया है।

इसी के तहत अदालत ने कहा था कि आरोपी विधायक को 16 नवंबर 2021 के लिए तलब किया जाए।

दिल्ली परिवहन मंत्री ने दिल्ली परिवहन निगम द्वारा 1,000 लो-फ्लोर बसों की खरीद से संबंधित मामले में गुप्ता को कथित रूप से बदनाम करने के लिए एक आपराधिक शिकायत दर्ज की थी और भाजपा विधायक द्वारा हर्जाने के तौर पर 5 करोड़ रुपये की मांग की थी और मीडिया पोस्ट को हटाने के लिए कहा था।

गहलोत ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया था कि गुप्ता ने दुर्भावनापूर्ण उद्देश्यों और राजनीतिक लाभ हासिल करने के लिए, शिकायतकर्ता पर मौखिक और लिखित रूप से ट्विटर और फेसबुक जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपने अकाउंट के माध्यम से मानहानिकारक, निंदनीय, शरारती, झूठे और अपमानजनक आरोप लगाए हैं।

गहलोत ने अपनी शिकायत में यह भी उल्लेख किया है कि दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्रालय का प्रभार मिलने के बाद, उन्होंने 2017 से लोगों के कल्याण के लिए लगभग 1,500 नई बसों को शामिल करने की पहल की है।

भाजपा विधायक ने पहले आरोपों को खारिज कर दिया था और उन्हें निराधार करार दिया था। गुप्ता ने कहा था कि वह बस खरीद विवाद पर उपराज्यपाल द्वारा नियुक्त पैनल के निष्कर्षों का जिक्र कर रहे थे।

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.