जम्मू-कश्मीर में आतंकी हमले आम हो चुके हैं। आए दिन जम्मू- कश्मीर के किसी-न-किसी भाग से आतंकवादी हमले की खबरें आती हैं। लेकिन आतंकियों ने इस बार सिर्फ कश्मीर पर नहीं बल्कि युवाओं का फ्यूचर बनाने वाली संस्था उद्यमिता विकास संस्थान (ईडीआई) पर हमला किया है। जहां बुधवार को लगातार तीसरे दिन भी मुठभेड़ जारी है। जवानों ने अब तक 2 आतंकी मार गिराए हैं। वहीं एक आतंकी के अभी भी छुपे होने की आशंका है।
इंसानियत की दुश्मन आतंकियों ने आठ महीने पहले फरवरी में भी सरकारी इमारत ईडीआई को निशाने पर लिया था। उस समय पांच जवान शहीद हुए थे जबकि एक कर्मचारी की मौत हो गई थी। जिसके बाद सेना ने ऑपरेशन में 3 आतंकियों को मार गिराया था।
ईडीआई परिसर में 3 इमारतें हैं, जिसमें एक गेस्ट हाउस, एक हॉस्टल कॉम्प्लेक्स और मुख्य कार्यालय इमारत है। यह परिसर 3.5 एकड़ में फैला है। जहां आतंकियों के स्लीपर सेल नहीं बल्कि कश्मीर के भविष्य को ट्रेनिंग दी जाती है। यही कारण है कि आतंकियों के निशाने पर यह इमारत रहा है।
आतंकियों और अलगाववादी के तरफ वादी के युवाओं का झुकाव न हो इसके लिए राज्य सरकार ने कई कदम उठाए हैं। जिसमें सरकार को काफी हद तक सफलता भी हासिल हुई है। जो जान की प्यासी आतंकियों को नागवार गुजर रहा है।
ईडीआई में लड़के और लड़कियों को खासतौर पर सरकारी नौकरी के लिए प्रशिक्षित किया जाता है।
आपको बता दें की पंपोर के ईडीआई इमारत में आतंकी हमले के बाद जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट कर कहा था, 'सभी ईडीआई हमेशा कश्मीरी लड़के और लड़कियों को अपने पांव पर खड़े होने और सरकारी नौकरी पाने के लिए प्रशिक्षित करती है। आतंकवादियों को ऐसा पसंद नहीं है।'
उन्होंने एक अन्य ट्विट में कहा 'इस साल दूसरी बार संस्थान पर हमला करने को लेकर आश्चर्य नहीं हुआ। वे चाहते हैं कि युवा कश्मीरी अधीन बने रहें और आत्मनिर्भर नहीं बन सकें।'