देश के रक्षा मंत्री अरूण जेटली ने आज कहा,' भारत 'कुछ हद तक संवेदनशील' था और राष्ट्र की सुरक्षा की तैयारियां में 'हम कभी समझौता नहीं कर सकते थे।' ये बात उन्होंने हिन्दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) के 5.8 टन के हल्के लड़ाकू हेलीकॉप्टर के उत्पादन का शुभारंभ के मौके पर कही।
जेटली ने एचएएल, बीईएल और बीईएमएल जैसे रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र इकाइयों को 'संतोषजनक और व्यक्तिगत शिक्षा' बताते हुए कहा, रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र इकाइयों (डीपीएसयू) और निजी क्षेत्र के उद्यमिता के अनुभव के साथ, 'हमारे बाजार के आकार के साथ, हमें अपनी विनिर्माण क्षमता में वृद्धि करनी चाहिए।'
रक्षा मंत्री ने कहा,' वर्तमान भू-राजनीतिक परिस्थिति में, भारत कुछ संवेदनशील रूप से स्थित है। हमारे पास अतीत में भी कई खतरे हैं और इसलिए, भारत में तैयारियों के बारे में कोई समझौता नहीं किया सकता है।'
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उन्होंने कहा कि भारत के डीपीएसयू ने एक महत्वपूर्ण प्रयास किया है और उनकी लागत और गुणवत्ता प्रतिस्पर्धी हैं।
जेटली ने कहा, 'पारंपरिक रूप से कहा गया है और माना जाता है कि देश केवल दुनिया में अन्य लोगों से खरीदते हुए उपकरण के आधार पर युद्ध नहीं जीत पाते। उन्हें क्षमता पर अपना समृद्ध और विस्तार करना होगा।'
उन्होंने कहा कि इस व्यवसाय की प्रकृति ऐसी है कि बहुत कम आपूर्तिकर्ताओं हैं और देश के भीतर केवल एक ही खरीदार, सशस्त्र बलों के पास है।
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HIGHLIGHTS
- जेटली ने एचएएल के 5.8 टन के हल्के लड़ाकू हेलीकॉप्टर के उत्पादन का शुभारंभ किया
- जेटली ने कहा-राष्ट्र की सुरक्षा की तैयारियां में 'हम कभी समझौता नहीं कर सकते थे
Source : News Nation Bureau