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कृषि कानूनों में होगा बदलाव? प्रकाश जावड़ेकर ने कहा- किसानों से बातचीत प्रगति पर है

सरकार और किसानों के बीच पांच राउंड की बातचीत हो चुकी है लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला है. कैबिनेट की बैठक के बाद जब मीडिया ने प्रकाश जावड़ेकर से किसान आंदोलन के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि बातचीत चल रही है.

Updated on: 09 Dec 2020, 04:23 PM

नई दिल्ली :

कृषि कानूनों को लेकर किसानों का आंदोलन जारी है. किसान लगातार कानून को रद्द करने की मांग कर रहे हैं. वहीं, सरकार ने कानून नहीं रद्द करने बल्कि संशोधन करने का प्रस्ताव दिया है. सरकार और किसानों के बीच पांच राउंड की बातचीत हो चुकी है लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला है. कैबिनेट की बैठक के बाद जब मीडिया ने प्रकाश जावड़ेकर से किसान आंदोलन के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि बातचीत चल रही है.

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा, 'कृषि कानूनों पर सरकार और किसानों के बीच बातचीत हो रही है. काम प्रगति पर है.' 

इधर, दिल्ली सीमा पर डटे किसानों को मोदी सरकार की तरफ से प्रपोजल भेज दिया गया है. किसानों की सबसे बड़ी मांग एमएसपी (MSP) पर सरकार ने लिखित गारंटी देने का वादा किया है. किसान नेता अब बैठक कर सरकार के इस मसौदे पर विचार करेंगे और अपनी रणनीति तय करेंगे.

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वहीं, सरकार के प्रस्ताव पर किसानों की 'हां' या 'ना', इसकी घोषणा के लिए आज शाम 5 बजे एक प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई गई है.

सरकार की तरफ से भेजे गए प्रस्ताव में कई बिंदु के बारे में संशोधन करने के लिए कहा गया है.
पहला, एमएसपी खत्म नहीं होगा, सरकार एमएसपी को जारी रखेगी. सरकार इस पर लिखित आश्वासन देगी.
दूसरा, मंडी कानून APMC में बड़ा बदलाव होगा. 
तीसरा, प्राइवेट प्लेयर्स को रजिस्ट्रेशन जरूरी होगी.
चौथा,  कॉन्ट्रेक्ट फॉर्मिंग में किसान को कोर्ट जाने का हक़.
पांचवा, अलग फ़ास्ट ट्रैक कोर्ट के गठन को मंजूरी मिलेगी.
छठा, प्राइवेट प्लेयर्स पर टैक्स लगाया जाएगा.