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कोरोना वैक्सीन हलाल है या हराम? दीपक चौरसिया के साथ देखिये #DeshKiBahas

देश में कोरोना वैक्सीन आने से पहले ही तरह-तरह की मांगें शुरू हो गई है. कोरोना वैक्सीन पर भी हलाल सर्टिफिकेशन की उठी मांग है. कंपनियों से सफाई मांगी है कि वैक्सीन गैर इस्लामिक नहीं है.

Updated on: 24 Dec 2020, 09:14 PM

नई दिल्ली:

देश में कोरोना वैक्सीन आने से पहले ही तरह-तरह की मांगें शुरू हो गई है. कोरोना वैक्सीन पर भी हलाल सर्टिफिकेशन की उठी मांग है. कंपनियों से सफाई मांगी है कि वैक्सीन गैर इस्लामिक नहीं है. अब वैक्सीन कंपनी को बताना होगा कि वैक्सीन में पोर्क जेलेटिन का इस्तेमाल नहीं है. मुस्लिम देशों में हलाल सर्टिफिकेट के बिना कारोबार नहीं है. भारत में हलाल इंडिया, हलाल काउंसिल ऑफ इंडिया सर्टिफिकेट देते हैं. कोरोना वैक्सीन हलाल है या हराम? दीपक चौरसिया के साथ देखिये #DeshKiBahas... यहां पढ़ें मुख्य अंश. 

  • चाइना की वैक्सीन भारत में नहीं आने वाली है : डॉ. कौशल कांत मिश्रा, सर्जन
  • किसी भी वैक्सीन में जर्बी नहीं डाली जाती है : डॉ. कौशल कांत मिश्रा, सर्जन
  • चीन से भारत कोई वैक्सीन नहीं आएगी : डॉ. कौशल कांत मिश्रा, सर्जन
  • कोरोना वैक्सीन पर हलाला या हराम विवाद करना ठीक नहीं है : डॉ. कौशल कांत मिश्रा, सर्जन
  • वैक्सीन लैब में बन रही है : डॉ. कौशल कांत मिश्रा, सर्जन
  • इस्लाम जानलेना मजबह कभी नहीं रहा है : मुफ्ती वजाहत कासमी, इस्लामिक स्कॉलर  
  • अगर जानलेना बीमारी है तो हम कोई भी दवा ले सकते हैं : मुफ्ती वजाहत कासमी, इस्लामिक स्कॉलर  
  • मेरे अंदर सच कहने की हिम्मत है, आपको भी सच बोलना चाहिए : मुफ्ती वजाहत कासमी, इस्लामिक स्कॉलर  
  • ये मुसलमानों का पैटर्न है कि कभी फोटो खींचाना, लाउंडस्पीकर हराम हो जाता है : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक  
  • लोगों में सोचने समझने की सक्षमता खत्म करने के लिए ऐसा फतवा जारी किया जाता है : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक  
  • इस्लामिक लॉ के अनुसार, फतवा कानूनी नहीं है : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक  
  • क्या मुसलमानों को जीने का अधिकार नहीं है : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक  
  • अभी वैक्सीन आई नहीं तो फिर विरोध क्यों : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक
  • इस्लाम में कहां लिखा है कि म्यूजिक और नेलपेंट हराम है : सुबुही ख़ान, राजनीतिक विश्लेषक   
  • क्या आपने कोरोना वैक्सीन को लेकर हिन्दुस्तान के वैजिटेरियन लोगों से पूछा है : असगर खान, राजनीतिक विश्लेषक
  • कितने हिंदू है जो सुअर की जर्बी खाते हैं : असगर खान, राजनीतिक विश्लेषक
  • हम वो दवा नहीं लेते हैं, जिसमें सुअर की जर्बी हो : असगर खान, राजनीतिक विश्लेषक
  • इंसान की जान बचाने के लिए हराम चीज का भी इस्तेमाल किया जा सकता है : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी  
  • भारत को बिना सुअर वाली वैक्सीन लानी चाहिए : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी  
  • हम चाइनीस नहीं हैं, चीन हमारे देश का दुश्मन है, इसलिए ये हमारे भी दुश्मन हैं : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी 
  • हम हिंदुस्तान के मौलाना को मानेंगे : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी 
  • भारत में अभी वैक्सीन नहीं आई है : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी 
  • जो शरीयत के खिलाफ बोलता है वह इस्लाम कहलाने के लायक नहीं है : मौलाना अली कादरी, चेयरमैन, SAWS एकेडमी 
  •  सबको अपनी बात करने का अधिकार है :  मौलाना नदीमुद्दीन, अध्यक्ष, उलेमा काउंसिल
  • कोरोना महामारी एक तमाशा है, ये जानलेवा बीमारी नहीं है : मौलाना नदीमुद्दीन, अध्यक्ष, उलेमा काउंसिल
  • भारत खुद कोरोना वैक्सीन बना रहा है : डॉ. जमील अहमद, अलीगढ़, दर्शक
  • हमारे पास वैक्सीन को लेकर कई विकल्प है, भारत वैक्सीन बनाने में पूरी तरह सक्ष्म है : डॉ. जमील अहमद, अलीगढ़, दर्शक