पीएनबी घोटाले से विदेशी बैंक इंटेसा सानपोलो एसपीए प्रभावित
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) को करोड़ों की चपत लगाने वाले नीरव मोदी व मेहुल चोकसी के फर्जीवाड़े से अब तक सिर्फ एक विदेशी बैंक इंटेसा सैनपाओला के प्रभावित होने की बात सामने आई है।
नई दिल्ली:
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) को करोड़ों की चपत लगाने वाले नीरव मोदी व मेहुल चोकसी के फर्जीवाड़े से अब तक सिर्फ एक विदेशी बैंक इंटेसा सैनपाओला के प्रभावित होने की बात सामने आई है। हांगकांग स्थित इस बैंक की शाखा को पीएनबी की ओर से जारी विदेशी साख पत्र (एफएलसी) के बदले धन मुहैया करने को कहा गया था।
इटली के इस बैंक की हांगकांग शाखा से मेहुल सी. चोकसी की कंपनी गीतांजलि ग्रुप ने पीएनबी के एफएलसी पर 22,00,011 डॉलर यानी 14.08 करोड़ रुपये लिए थे, जिसका भुगतान 19 मार्च को किया जाना है। नीरव मोदी और मेहुल चोकसी जनवरी में ही देश से भाग चुका है।
हालांकि गीतांजलि ग्रुप ने इसके अलावा कुल 75.459 करोड़ डॉलर यानी 4,886.72 करोड़ रुपये की राशि भारतीय बैंकों की विदेशी शाखाओं से पीएनबी द्वारा जारी एफएलसी या लेटर ऑफ अंडरटेकिंग (एलओयू) के आधार पर निकाली।
केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा 15 फरवरी को गीतांजलि ग्रुप के खिलाफ दर्ज प्रथम सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) में इन विवरणों का जिक्र किया गया है। इंटेसा सैनपाओला से निकाली गई राशि का जिक्र शाखा के सिर्फ स्वीफ्ट कोड में है, जिसमें नाम का उल्लेख नहीं है।
वायर के जरिये धन अंतरण के लिए बैंक की पहचान की प्रणाली को स्वीफ्ट कह जाता है।
बाकी पीएनबी फर्जीवाड़े में 11,300 करोड़ रुपये की राशि नीरव मोदी की कंपनियों द्वारा प्राप्त की गई है, जिसके संबंध में एफआईआर अभी दर्ज नहीं की गई है। हालांकि सीबीआई ने 29 जनवरी को 280.7 करोड़ रुपये की राशि के लिए पहली एफआईआर दर्ज की थी।
सीबीआई अधिकारियों ने बताया कि 6,400 करोड़ रुपये की राशि भी डायमंड आर यूएस, सोलर एक्सपोर्ट्स और स्टेलर डायमंड, जिसमें नीरव मोदी, निशाल मोदी (नीरव के भाई), मेहुल चोकसी (नीरव के मामा) और एमी नीरव मोदी (नीरव की पत्नी) साझेदार हैं, के खिलाफ दर्ज पहली एफआईआर में जोड़ी जाएगी।
दूसरी एफआईआर में गीतांजलि ग्रुप की कंपनियों के 11 निदेशकों के भी नाम शामिल हैं।
पीएनबी धोखाधड़ी का मामला 16 जनवरी, 2018 को प्रकाश में आया जब नीरव मोदी की कंपनियों के अधिकारी बगैर जमानत के क्रेता साख के लिए बैंक से संपर्क किया। उन्होंने बताया कि उनको यह सुविधा वर्षो से मिल रही है।
बैंक ने बताया कि उनके जिस अधिकारी ने ऐसी अवैध सुविधा एलओयू और एफएलसी के जरिये मुहैया करवाने की अनुमति दी थी। वह सेवामुक्त हो गए थे। अधिकारियों ने जब जांच की तो सारा फर्जीवाड़ा उजागर हुआ।
पीएनबी के मुताबिक, एक उपप्रबंधक और सिंगल विंडो ऑपरेटर (निचले दर्जे के कर्मी) करोड़ों डॉलर के एलओयू और एफएलसी जारी करने के लिए जिम्मेदार हैं। इसकी जानकारी बैंक के कोर बैंकिंग सॉल्यूशन सिस्टम को नहीं दी गई थी, जिसके जरिये सारे अंतरण (लेन-देन) की निगरानी की जाती है।
नीरव मोदी और मेहुल चोकसी की कंपनियों ने इन कागजातों का उपयोग कई बैंकों से क्रेता साख प्राप्त करने में की।
इसके अतिरिक्त, एलओयू एक साल की वैधता के साथ जारी किए गए थे जबकि भारतीय रिजर्व बैंक के निर्देशों के अनुसार निर्यातकों कका सिर्फ 90 दिनों के लिख साख दी जाती है। आगे, एलओयू और एफएलसी को नियमित तौर पर कंपनियों ने नए समझौते में उपयोग किया, जो बैंकिंग मानकों के तहत अवैध कार्य है।
पीएनबी के प्रबंध निदेशक व कार्यकारी अधिकारी सुनील मेहता ने गुरुवार को दिल्ली में एक प्रेसवार्ता में कहा था कि उनके बैंक की ओर से जारी एलओयू और एफएलसी पर धन देने वालों में एक को छोड़कार बाकी सारे भारतीय बैंकों की विदेशी शाखाएं हैं। उन्होंने विदेशी बैंक का नाम नहीं बताया था।
और पढ़ें- पीएनबी घोटाला: मोदी से कनेक्शन बताने पर सीतारमण के खिलाफ मानहानि का केस ठोकेंगे मनु सिंघवी
गीतांजलि ग्रुप की तीन कंपनियों के खिलाफ दर्ज एफआईआर में दिए विवरणों के मुताबिक, गीतांजलि जेम्स लिमिटेड ने 33.50 करोड़ डॉलर यानी 2,144.37 करोड़ रुपये एलओयू के जरिये और 8.986 करोड़ डॉलर यानी 575.11 करोड़ रुपये एफएलसी के जरिये प्राप्त किए थे।
वहीं, गिली इंडिया लिमिटेड ने 8.854 करोड़ डॉलर यानी 566.65 करोड़ रुपये एलओयू और 9.772 करोड़ डॉलर यानी 625.40 करोड़ रुपये एफएलसी के जरिये लिए थे। नक्षत्र ब्रांड लिमिटेड ने 5.017 करोड़ डॉलर यानी 321.10 करोड़ रुपये एलओयू और 9.357 करोड़ डॉलर यानी 598.85 करोड़ रुपये एफएलसी के जरिये प्राप्त किए थे।
गीतांजलि ग्रुप की कंपनियों की ओर से एलओयू और एफएलसी प्राप्त करने पर जिन भारतीय बैंकों की शाखाओं ने धन पीएनबी के विदेशी मुद्रा खातों में क्रेडिट कर दिया, जिसकी निकासी कंपनियों ने क्रेता साख के तहत की, उनमें भारतीय स्टेट बैंक की मॉरीशस और फ्रेंफर्ट स्थित शाखाएं, बैंक ऑफ इंडिया की एंटवर्प स्थित शाखा, केनरा बैंक की बहरीन स्थित शाखा, एक्सिस बैंक की हांगकांग स्थित शाखा, यूनियन बैंक ऑफ इंडिया की हांगकांग स्थित शाखा और यूको बैंक की हांगकांग स्थित शाखा शामिल हैं।
सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी शिवसेना के मुताबिक, नीरव मोदी और मेहुल चोकसी हर चुनाव में भाजपा के लिए धन जुटाते रहे हैं, इसलिए इन दोनों की ऊपर तक पहुंच है।
और पढ़ें- PNB घोटाला: CVC ने वित्त मंत्रालय और बैंक के अधिकारियों को किया तलब
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Sunny Deol: कपिल के शो पर सनी देओल ने ऐसा क्या कहा...? सुनकर रो पड़े Lord बॉबी
-
Ibrahim Ali Khan Insta Debut: इब्राहिम अली खान ने मारी इंस्टाग्राम पर एंट्री, पहले ही पोस्ट में किया इस ब्रांड का प्रमोशन
-
Nicole Kidman: बेहद गॉर्जियस हैं हॉलीवुड स्टार निकोल किडमैन की बेटियां, पहली बार रेड कार्पेट पर आईं नजर
धर्म-कर्म
-
Namkaran Muhurat May 2024: मई 2024 में नामकरण संस्कार के लिए ये हैं शुभ मुहूर्त, ऐसे रखें बेबी का नाम
-
Chanakya Niti: चाणक्य के अनुसार चंचल मन वाले लोग होते हैं ऐसे, दोस्ती करें या नहीं?
-
Masik Janmashtami 2024: कल मासिक कृष्ण जन्माष्टमी पर बन रहे हैं ये 3 शुभ योग, जल्द विवाह के लिए करें ये उपाय
-
May Promotion Horoscope: मई 2024 में इन 3 राशियों को मिलेगी नौकरी में जबरदस्त तरक्की, सिंह का भी शामिल!