अधिकारियों ने गुरुवार को कहा कि हनी-ट्रैप सेना के जवान को यहां पाकिस्तानी एजेंटों के साथ अपने रेजिमेंट के युद्ध अभ्यास के गोपनीय दस्तावेज और वीडियो साझा करने के लिए गिरफ्तार किया गया, जहां जवान को बुधवार को एक स्थानीय अदालत में पेश किया गया। अदालत ने उन्हें दो दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा।
एडीजीपी इंटेलिजेंस उमेश मिश्रा ने कहा कि अपराध की गंभीरता और गहन जांच की जरूरत को देखते हुए अदालत ने पश्चिम बंगाल निवासी शांतिमय राणा को दो दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया। उन्होंने कहा कि आरोपी पिछले दो साल से व्हाट्सएप और टेलीग्राम के जरिए पाकिस्तानी महिलाओं के संपर्क में था।
अब तक की गई जांच में इस बात की पुष्टि हुई है कि आरोपी को सेना की रणनीतिक रूप से संवेदनशील और गोपनीय जानकारी के एवज में पैसे मिल रहे थे।
मिश्रा ने कहा कि आरोपियों के बैंक खाते के रिकॉर्ड में पैसे मिलने की पुष्टि हुई है। आगे की जांच जारी है।
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Source : IANS