जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा की दिशा में सरकार ने एक ओर कदम बढ़ाते हुए यहां अर्धसैनिक बलों की 100 और कंपनियां तौनात की है. सरकार ने यहां मौजूद काउंटर इंसरजेंसी ग्रिड को और मजबूत बनाने के लिए ये कदम उठाया है. हाल के आने वाले दिनों में करीब 16000 और जवान को घाटी की सुरक्षा के लिए तैनात किए जाएंगे. गृह मंत्रालय ने कश्मीर में कानून व्यवस्था को बनाए रखने के लिए सीआरपीएफ समेत अन्य बलों की अतिरिक्त 100 कंपनियों को तैनात करने का आदेश दिया है.
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मंत्रालय की तरफ से जारी बयान के मुताबिक, सीआरपीएफ की 50, बीएसएफ10, एसएसबी की 30 और आईटीबीपी की 10 कंपनियां तैनात की गई है. वहीं बताया जा रहा है कि स्वतंत्रता दिवस (15 अगस्त) के मौके पर मोदी सरकार जम्मू-कश्मीर और आर्टिकल 35-A से जुडें मुद्दें पर कुछ बड़ा ऐलान कर सकती हैं.
कश्मीर में इतने बड़ें स्तर पर और अतिरिक्त सुरक्षाबलों की तैनाती को लेकर पूर्व आईएएस अधिकारी और जम्मू-कश्मीर पीपल्स मूवमेंट (जेकेपीएम) के अध्यक्ष शाह फैसल ने कई सवाल उठाएं है. शाह फैसल ने कहा कि इस बात की अफवाह तेज है कि कश्मीर की घाटी में कुछ बड़ा घटित होने वाला है.
शाह फैसल ने ट्वीट कर कहा, 'घाटी में अचानक सुरक्षाबलों की 100 अतिरिक्त कंपनियों की तैनाती क्यों हो रही है, इसके बारे में किसी को जानकारी नहीं है. इस बात की अफवाह है कि घाटी में कुछ बड़ा भयानक होने वाला है. क्या यह अनुच्छेद 35ए को लेकर है?'
वहीं शाह फैसल के अलावा अलग-अलग दलों के कई नेताओं ने भी मोदी सरकार के इस कदम पर सवाल उठाते हुए पूछा है कि आखिरकार क्या नया और बड़ा करने वाली है ये सरकार.
बता दें कि राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल बिना किसी पूर्व जानकारी के घाटी के दौरे पर श्रीनगर पहुंचे हुए हैं. पिछले दो दिनों से डोभाल सेना के अलग-अलग अधिकारियों के साथ बैठक कर रहे हैं. अभी तक इस बात की जानकारी नहीं मिल सकी है कि डोभाल श्रीनगर में किस सीक्रेट मिशन के तहत पहुंचे हैं
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गौरतलब है कि पुलवामा हमले के बाद भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान के बालाकोट में एयर स्ट्राइक की थी, जिसमें कई आतंकवादी मारे गए थे. इसके बाद से भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव की स्थिति है. पाकिस्तान की ओर से लगातार कश्मीर घाटी में संघर्ष विराम का उल्लंघन किया जा रहा है. अंदेशा लगाया जा रहा है कि 15 अगस्त के मौके पर भी पाक कोई नापाक हरकत कर सकता है. ऐसे में सरकार घाटी की सुरक्षा को लेकर कोई भी लापरवाही नहीं बरतना चाहते हैं.
Source : News Nation Bureau