देश कोरोनावायरस (Corona Virus) संक्रमण के संकट से परेशान है इस बीच केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने ओडिशा में एक और वर्चुअल रैली की है. भारतीय जनता पार्टी ने इसके पहले रविवार को बिहार में वर्चुअल रैली की थी. ओडिशा में जनसंवाद रैली को संबोधित करते हुए अमित शाह ने कहा कि ये जो परंपरा भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शुरू की है वो वैश्वक राजनीति को रास्ता दिखाने वाली होगी. उन्होंने आगे कहा कि ऐसी महामारी के समय भी कोई पार्टी अपने देश में लोकतंत्र की जड़ों को मजबूत करने के लिए किस तरह से जनसंवाद कर सकती है यह कोई हमारी पार्टी से पूछे. आज आपके सामने जन संवाद हो रहा है और ऐसी 75 वर्चुअल रैली के माध्यम से भाजपा के कई नेता जनता से संवाद करने वाले हैं.
ओडिशा में जनसंवाद वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए अमित शाह ने कांग्रेस पर हमला बोला उन्होंने कहा कि, कांग्रेस ने भ्रष्टाचार और तुष्टिकरण की राजनीति की है. साल 2014 में नरेंद्र मोदी जब प्रधानमंत्री बने थे तभी उन्होंने कहा था कि मेरी सरकार आदिवासियों, दलितों और गरीबों की सरकार होगी. पीएम मोदी जो बोलते हैं, वह करके दिखाते हैं. उन्होंने देश के 60 करोड़ से ज्यादा गरीबों के जीवन स्तर को ऊंचा उठाने के लिए बहुत सारे काम किए.
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रविवार को बिहार में थी जनसंवाद की वर्चुअल रैली
इसके पहले पहले रविवार को भी अमित शाह ने बिहार में पहली वर्चुअल रैली 'बिहार जनसंवाद' को संबोधित किया था. इस रैली में अमित शाह ने कहा था कि बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व में दो-तिहाई बहुमत से सरकार बनेगी. उन्होने बिहार के प्रमुख विपक्षी दल आरजेडी पर हमला बोलते हुए कहा था कि अब लालटेन का समय जा चुका है और LED का समय आ गया है, लेकिन ये चुनावी सभा नहीं है, हमारा उद्देश्य देश के लोगों को जोड़ना है और कोरोना वायरस संक्रमण के खिलाफ एकजुट होकर लड़ना है.
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यह राजनीतिक प्रोपेडेंडा नहीं देश को एकजुट करने की मुहिम है- अमित शाह
अमित शाह ने ओडिशा की जनसंवाद रैली में आगे कहा कि जनता कर्फ्यू भारत के लोकतांत्रिक इतिहास के अंदर स्वर्णिम अक्षरों में लिखा जाएगा कि देश के एक नेता की अपील पर कोई पुलिस बल प्रयोग किए बगैर पूरे देश ने घर के अंदर रहकर अपने नेता की अपील का सम्मान किया. चाहे उन्होंने थाली और घंटी बजाने को कहा, चाहे दीया जलाने को कहा, चाहे सेना के जवानों द्वारा आकाश से कोरोना वॉरियर्स पर फूल बरसाने की बात हो, ये सब पीएम की अपील ही थी. शाह ने कहा कि देश के कुछ लोगों ने इसे राजनीतिक प्रोपेगेंडा कहा, मगर जो कह रहे हैं उन लोगों को ये बात नहीं मालूम है कि यह रैली राजनीतिक प्रोपेगेंडा नहीं है बल्कि ये देश को एकजुट करने की एक मुहिम है.