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हिंदू महासभा ने गोडसे की जब्त प्रतिमा लौटाने की प्रशासन से की मांग

भारद्वाज ने धमकी दी, ‘यदि प्रशासन गोडसे की मूर्ति नहीं लौटाता है तो महासभा के कार्यकर्ता दूसरी मूर्ति कार्यालय में स्थापित कर लेंगे और यह काम अगले वर्ष 19 मई तक हो सकता है.’

Updated on: 15 Nov 2020, 10:47 PM

नई दिल्ली:

हिन्दू महासभा ने महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे की प्रशासन द्वारा कुछ साल पहले जब्त की गई प्रतिमा को वापस किए जाने की मांग की और साथ ही धमकी दी कि प्रतिमा नहीं लौटाने की स्थिति में दूसरी प्रतिमा लगा दी जाएगी. हिंदू महासभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयवीर भारद्वाज ने यहां रविवार को संवाददाताओं को बताया कि प्रशासन से आग्रह किया गया है कि वर्ष 2017 में जब्त गोडसे की मूर्ति को वापस किया जाए, जिससे वे उसे अपने दफ्तर में स्थापित कर सकें.

भारद्वाज ने धमकी दी, ‘यदि प्रशासन गोडसे की मूर्ति नहीं लौटाता है तो महासभा के कार्यकर्ता दूसरी मूर्ति कार्यालय में स्थापित कर लेंगे और यह काम अगले वर्ष 19 मई तक हो सकता है.’ उल्लेखनीय है कि नवंबर 2017 में दौलतगंज स्थित हिंदू महासभा के कार्यालय में कार्यकर्ताओं ने गोडसे की प्रतिमा स्थापित करके एक मंदिर बनाने की योजना बनाई थी, लेकिन प्रशासन ने इस प्रयास को विफल करते हुए प्रतिमा को जब्त कर लिया था.

महासभा के कार्यकर्ताओं ने यहां रविवार को महात्मा गांधी के हत्यारों, नाथूराम गोडसे एवं नारायण आप्टे की 71वीं पुण्यतिथि को ‘बलिदान दिवस’ के रूप में मनाया. महात्मा गांधी की हत्या करने के जुर्म में गोडसे एवं आप्टे को 15 नवंबर 1949 को अंबाला जेल में फांसी दे दी गयी थी और इस दिन को हिंदू महासभा के कार्यकर्ता 'बलिदान दिवस' के रूप में मनाते हैं.