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हरियाणा के मुख्यमंत्री ने दिए चिनटेल्स पैराडाइसो के स्ट्रक्च रल ऑडिट के आदेश, मौतों पर शोक किया व्यक्त

हरियाणा के मुख्यमंत्री ने दिए चिनटेल्स पैराडाइसो के स्ट्रक्च रल ऑडिट के आदेश, मौतों पर शोक किया व्यक्त

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IANS
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Haryana Chief

(source : IANS)( Photo Credit : (source : IANS))

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हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने सेक्टर 109 में चिनटेल्स पैराडाइसो आवासीय सोसायटी में छत गिरने की घटना में लोगों की मौत पर दुख व्यक्त करते हुए एक ऑडिट का आदेश दिया है। अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी।

मुख्यमंत्री ने कहा, घटना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण थी.सरकार यह भी सुनिश्चित करेगी कि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।

निर्माण के दौरान डिजाइन या कारीगरी में दोषों का पता लगाने के लिए आईआईटी या किसी अन्य प्रतिष्ठित सरकारी संस्थान द्वारा प्रभावित आवासीय टावरों का संरचनात्मक ऑडिट कराने के भी निर्देश दिए गए हैं।

घटना बीते गुरुवार की है जब आवासीय सोसायटी के टावर-डी की छठी मंजिल की छत का एक हिस्सा ढह गया था, जिसका असर पहली मंजिल तक देखा गया। छत गिरने से दो लोगों की मौत हो गई।

खट्टर ने कहा, घटना की गंभीरता को देखते हुए सरकार दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध है। किसी भी कारण से किसी की जान जाने को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग चिनटेल्स इंडिया लिमिटेड, चिनटेल्स एक्सपोर्ट्स प्राइवेट लिमिटेड और चिनटेल्स इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के सभी निदेशकों, आवासीय टावर का निर्माण करने वाले स्ट्रक्च रल इंजीनियरों, आ*++++++++++++++++++++++++++++र्*टेक्ट्स और ठेकेदारों के साथ-साथ उस व्यक्ति के खिलाफ भी तत्काल कार्रवाई सुनिश्चित करेगा, जिसने छठी मंजिल पर अतिरिक्त निर्माण कार्य किया है।

हालांकि, जिला नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग की सिफारिशों के बाद गुरुग्राम पुलिस ने मामले में परियोजना निदेशकों, संरचनात्मक इंजीनियरों, वास्तुकारों और ठेकेदारों के खिलाफ दूसरी प्राथमिकी दर्ज की है।

उन्होंने कहा कि प्रशासन को टॉवर-डी के सभी प्रभावित परिवारों को तत्काल आधार पर वैकल्पिक अस्थायी आवास प्रदान करने का भी निर्देश दिया गया है, क्योंकि निवासी वहां रहने से डरते थे।

मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि उन्हें पता चला है कि आसपास के कुछ अन्य ग्रुप हाउसिंग सोसायटियों ने भी प्रारंभिक चरण में संरचनात्मक क्षति के संकेत दिखाए हैं। इसलिए नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग को निर्देश दिया गया है कि ऐसे भवनों की पहचान रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन या किसी अन्य एजेंसी से प्राप्त शिकायतों के आधार पर की जाए।

विभाग को स्ट्रक्च रल ऑडिट करने का भी निर्देश दिया गया है।

उन्होंने कहा, भविष्य में ऐसी किसी भी दुखद घटना से बचने के लिए, सरकार ने अब सैद्धांतिक रूप से निर्णय लिया है कि बिल्डरों द्वारा नियुक्त संरचनात्मक इंजीनियरों के अलावा, टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग को व्यवसाय प्रमाण पत्र देने से पहले प्रतिष्ठित सरकारी संस्थानों या उनके द्वारा पैनल में शामिल स्ट्रक्च रल इंजीनियर द्वारा एक स्ट्रक्च रल ऑडिट भी करना चाहिए।

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

Source : IANS

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