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फोर्टिस मामला: हरियाणा सरकार ने बच्ची की मौत पर दिए जांच के आदेश, अस्पताल से मांगी रिपोर्ट

गुरुग्राम के फोर्टिस अस्पताल में सात साल की एक बच्ची की मौत पर हरियाणा के स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी मामले की जांच करेंगे।

Updated on: 22 Nov 2017, 08:44 AM

नई दिल्ली:

गुरुग्राम के फोर्टिस अस्पताल में सात साल की एक बच्ची की मौत पर हरियाणा के स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी मामले की जांच करेंगे।

अस्पताल ने लड़की की मौत के बाद परिवार को 16 लाख रुपये का बिल थमा दिया था। स्वास्थ्य मंत्री ने एक बयान में कहा, 'किसी भी अस्पताल को हरियाणा के लोगों की भावनाओं और स्वास्थ्य से खेलने की इजाजत नहीं दी जाएगी।

अधिकारियों को जल्द से जल्द अपनी जांच रिपोर्ट जमा करने के निर्देश जारी किए गए हैं, ताकि दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा सके।'

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे.पी. नड्डा ने मौत को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि सरकार ने अस्पताल से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा कि जरूरी हुआ तो मामले में कार्रवाई की जाएगी।

उन्होंने यह भी कहा कि उनके मंत्रालय ने सभी चिकित्सा प्रतिष्ठानों के पंजीकरण और विनियमन के संबंध में सभी राज्यों को पत्र लिखा है, जिससे सुविधाओं व सेवाओं के न्यूनतम मानक को निर्धारित किया जा सके।

डब्ल्यूएचओ सम्मेलन से नड्डा ने कहा, 'यह एक बहुत दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने फोर्टिस अस्पताल से एक मेडिकल रिपोर्ट मांगी है और हम इस मामले को देखेंगे व जरूरी हुआ तो कार्रवाई की जाएगी।'

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गुरुग्राम के फोर्टिस अस्पताल में डेंगू के इलाज के दौरान सात साल के आद्या की मौत हो गई। आद्या के माता-पिता को उसके शव को 18 लाख रुपये का भुगतान करने के बाद ले जाने दिया गया।

नड्डा ने मामले के सामने आने के बाद यह टिप्पणी की है।

आद्या के माता-पिता ने आरोप लगाया है कि अस्पताल ने उनकी बेटी को इलाज के दौरान प्रतिक्रियाहीन रहने पर भी तीन दिनों तक वेंटिलेटर पर रखा। लड़की की मौत 14 सितंबर को हुई थी।

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नड्डा ने कहा, 'कृपया मुझे विवरण दीजिए..हम सभी जरूरी कार्रवाई करेंगे।'

जैसे ही यह सूचना वायरल हुई, अस्पताल ने एक बयान जारी कर अपना पक्ष रखा।

अस्पताल के अनुसार, आद्या को गुड़गांव के फोर्टिस मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट्यूट में एक अन्य निजी अस्पताल से 31 अगस्त की सुबह लाया गया था।

बयान में कहा गया है, 'आद्या को गंभीर डेंगू के साथ भर्ती किया गया था। यह डेंगू शॉक सिंड्रोम में बदल गया। उसे आईवी फ्लूइड व जीवनरक्षक प्रणाली पर रखा गया, क्योंकि उसके प्लेटलेट काउंट में तेजी से गिरावट हो रही थी। उसकी स्थिति बिगड़ रही थी, उसे 48 घंटे जीवनरक्षक प्रणाली पर रखा गया।'

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