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nirbhaya gangrape case( Photo Credit : (फाइल फोटो))
निर्भया के दोषी विनय शर्मा पवन गुप्ता मुकेश और राम सिंह के घर आरके पुरम सेक्टर 4 के पास रविदास जेजे कॉलोनी में है, जहां इन दिनों हर किसी की जुबान पर पवन और विनय की फांसी की फुसफुसाहट है, लेकिन मीडिया के आगे कोई कुछ नहीं बोलना चाहता. विनय के जैसे-जैसे फांसी के दिन नजदीक आ रहे हैं विनय और पवन गुप्ता के घर वाले बेहद चिड़चिड़े हो गए हैं, पड़ोसियों से भी बात करने से कतराते हैं. अगर किसी पड़ोसी को मीडियाकर्मियों से बात करते हुए देख लिया तो लड़ने पर उतारू होते हैं.
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कॉलोनी के प्रधान बिहारी लाल ने कहा की जिसने जो कर्म किए हैं उसे उसकी सजा तो भुगतनी ही पड़ेगी लेकिन उनके परिवार वालों को सजा नहीं मिलनी चहिए. इससे ज्यादा कुछ नहीं कहेंगे क्योंकि विनय की मां की दिमागी हालत इस तरीके की है कि जो भी उनके बेटे के खिलाफ बोलता है उस से लड़ जाती है. प्रधान ने ये भी कहा की वह नहीं चाहते कि दोषियों की वजह से कॉलोनी की बदनामी हो, यही वजह है कि कॉलोनी का कोई भी व्यक्ति मीडिया के आगे कुछ नहीं बोलना चाहता.
कॉलोनी के एक युवक ने ऑफ कैमरा बताया कि वह सभी लोग कहीं ना कहीं रोजगार करते हैं अगर वह निर्भया के दोषियों को लेकर कुछ कहते हैं तो उनके ऑफिस में उनकी दुकान पर लोग यही सवाल करेंगे कि तुम उसी कॉलोनी से आते हो जिसमें निर्भया के गुनहगार रहते हैं. उनसे जुड़े 10 तरह के सवाल करेंगे यही वह वजह है जिन को ध्यान में रखकर कैमरे के आगे कुछ नहीं बोल सकते हैं.
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News Nation की टीम पवन गुप्ता के दरवाजे पर पहुंची तो वहां मौजूद एक किशोर ने हमें आपसे बात नहीं करनी, कहकर दरवाजे बंद कर लिया. आसपास के पड़ोसी भी कुछ नहीं बोले, उससे चंद कदम आगे ही विनय शर्मा का घर है वहां पहुंचे तो गेट पर ताला मिला.
पड़ोसियों ने ऑफ कैमरा बताया की कॉलोनी में कैमरा देखते ही विनय की मां और बहन घर पर ताला लगाकर निकल गई. जैसे-जैसे विनय की फांसी नजदीक आ रही है विनय की मां बेहद तनाव में है और मीडिया को इन हालात का जिम्मेदार मानती है. अगर कोई पड़ोसी कैमरे के आगे कुछ कहता है तो वह उससे झगड़ा करती हैं और अपशब्द कहते हुए नजर आती हैं.
बता दें कि निर्भया के दो दोषी मुकेश और राम सिंह जो सगे भाई हैं वे इसी कॉलोनी में रहते थे, राम सिंह ने तिहाड़ जेल में संदिग्ध हालात में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली, मुकेश जेल में है. घरवाले रविदास कॉलोनी को छोड़कर जा चुके हैं.
विनय और पवन राम सिंह और मुकेश की संगत में खराब हुए-
लोगों ने ऑफ कैमरा बताया कि वारदात से पहले राम सिंह और मुकेश की बदमाशी से कॉलोनी वाले परेशान रहते थे. विनय और पवन तो उनकी संगत में खराब हुए होंगे यह लोग कॉलोनी में कम ही नजर आते थे अक्सर बस में ही चलते थे. जब यह वारदात सामने आई तब उन्हें भी बहुत ज्यादा हैरानी नहीं हुई थी.
बता दें कि दिल्ली में 12 दिसंबर को हुए निर्भया गैंगरेप के चारो आरोपी इस समय तिहाड़ जेल में बंद हैं. इन आरोपियों को निर्भया बलात्कार-हत्याकांड के जुर्म में फांसी की सजा सुना दी गई है.
गौरतलब है कि एक 23 वर्षीय युवती का 16 दिसंबर, 2012 को वीभत्स तरीके से गैंगरेप किया गया और उसके साथ काफी अत्याचार भी किया, जिससे उसकी मौत हो गई. सभी छह आरोपियों को गिरफ्तार कर यौन उत्पीड़न और हत्या का मामला दर्ज किया गया. आरोपियों में से एक नाबालिग था, जिसे जुवेनाइल अदालत में पेश किया गया था। इसके अलावा एक अन्य आरोपी ने तिहाड़ जेल में आत्महत्या कर ली थी.
सितंबर 2013 में ट्रायल कोर्ट द्वारा चारों दोषियों को मौत की सजा सुनाई गई थी और मार्च 2014 में दिल्ली हाईकोर्ट ने, मई 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने इस सजा को बरकरार रखा.
Source : Avneesh choudhary