गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत बृहस्पतिवार को विधानसभा में राजस्व अधिशेष के साथ 21,056.35 करोड़ रुपये के खर्च का बजट पेश किया जिसमें करीब 353.61 करोड़ रुपये की बचत भी दिखायी गयी है. बजट में खनन को फिर से शुरू करने, दूरदराज के क्षेत्रों में पर्यटन, चिकित्सा पर्यटन के विकास और कारोबार सुगमता को प्राथमिकता दी गयी है.
बजट में गोवा को सम्मेलन केंद्र ओर शिक्षा केंद्र के रूप में विकसित करने का भी प्रस्ताव किया है.बजट में 353.61 करोड़ रुपये का राजस्व अधिशेष दिखाया गया है जबकि खर्च 21,056.35 करोड़ रुपये रहने का अनुमान रखा गया है. वित्त मंत्री की भी जिम्मेदारी संभाल रहे सावंत ने मुख्यमंत्री का पदभार संभालने के बाद अपना पहला बजट पेश किया है.
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मनोहर पार्रिकर के निधन के बाद वे राज्य के मुख्यमंत्री बने. उन्होंने अन्य बातों के अलावा कॉलेज के छात्रों एवं स्नातकों के लिये प्रशिक्षण योजना की घोषणा की. इसका क्रियान्वयन गोवा मानव संसाधन विकास विभाग करेगा. सावंत ने नीति आयोग के तर्ज पर ‘गोवा इंस्टीट्यूट ऑफ फ्यूचर ट्रांसफार्मेशन का गठन करने की घोषणा की.
बजट में राज्य का जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) 2019-20 में 84,888.89 करोड़ रुपये रहने का अनुमान है. वर्तमान मूल्य पर गोवा की प्रति व्यक्ति आय 5.02 लाख करोड़ रुपये है जो देश में सर्वाधिक है. उन्होंने कहा कि वृद्धि दर 10 प्रतिशत के आसपास रहेगी. उल्लेखनीय हे कि उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद गोवा में लौह अयस्क खनन ठप है. न्यायालय ने अनियमितताओं के कारण खनन पट्टों को रद्द कर दिया था.