उत्तर प्रदेश नगर निकाय चुनाव अपने चरम पर है। दूसरे चरण के मतदान 11 तारीख को होने हैं। इस बार टिकट ना मिलने पर सपा, बसपा ही नहीं बल्कि भाजपा में भी कई बागी अपनी ही पार्टी के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं। इन वादियों पर कड़ा एक्शन लेते हुए गाजियाबाद में भाजपा ने 5 पदाधिकारियों को निष्कासित कर दिया है।
क्षेत्रीय अध्यक्ष सतेंद्र शिशौदिया ने सोमवार देर रात इन पांचों को छह साल के लिए भाजपा से निष्कासित कर दिया। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी गाजियाबाद में आए हुए थे। उन्होंने निकाय चुनाव को लेकर पार्टी पदाधिकारियों की महत्वपूर्ण बैठक ली। माना जा रहा है कि इस बैठक के बाद ही क्षेत्रीय अध्यक्ष ने निष्कासन आदेश जारी कर दिया।
निष्कासित होने वालों में भाजपा के जिला उपाध्यक्ष राकेश त्यागी, आर्थिक प्रकोष्ठ के जिला संयोजक नितिन त्यागी, पूर्व मंडल महामंत्री विनोद चौधरी, शक्ति केंद्र संयोजक प्रदीप कश्यप और मंडल उपाध्यक्ष ज्योति शर्मा हैं।
क्षेत्रीय अध्यक्ष सतेंद्र शिशौदिया ने कहा, निकाय चुनाव में पार्टी के अधिकृत प्रत्याशी के खिलाफ चुनाव लड़ने-लड़ाने एवं पार्टी विरोधी गतिविधियों में संलिप्त होने के कारण इन्हें छह साल के लिए निष्कासित किया गया है। राकेश त्यागी निवाड़ी नगर पंचायत से चेयरमैन का टिकट मांग रहे थे, लेकिन भाजपा ने प्रदीप त्यागी को प्रत्याशी बना दिया। जिसके बाद राकेश त्यागी ने अपने बेटे आशीष त्यागी को बसपा में शामिल कराकर चेयरमैन प्रत्याशी बनवा दिया। इसी तरह नितिन त्यागी भी निवाड़ी से चेयरमैन टिकट की दौड़ में लगे हुए थे, लेकिन भाजपा से टिकट नहीं मिलने पर अब निर्दलीय रूप में हाथ आजमा रहे हैं।
विनोद चौधरी पतला नगर पंचायत के पूर्व सभासद हैं। भाजपा ने यहां जिसे प्रत्याशी बनाया है, उससे विनोद नाखुश हैं। इसलिए वे बसपा प्रत्याशी को चुनाव लड़वा रहे हैं। पतला नगर पंचायत से प्रदीप कश्यप निर्दलीय रूप में चेयरमैन का चुनाव लड़ रहे हैं। इन्हें यूपी सरकार में मंत्री नरेंद्र कश्यप का बेहद खास माना जाता है। इसी तरह डासना नगर पंचायत से ज्योति शर्मा भी चेयरमैन का चुनाव निर्दलीय लड़ रही हैं।
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Source : IANS