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PM मोदी ने किसानों को कानूनों से उपज का मूल्य तय करने का अधिकार दिया : बीजेपी

केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ जहां कई किसान संगठन विरोध कर रहे है और उन्हें कांग्रेस सहित अन्य दलों का समर्थन मिल रहा है. वहीं भाजपा ने कृषि कानूनों के लाभ गिनाने के लिए किसान सम्मेलनों का अभियान छेड़ा है.

Updated on: 16 Dec 2020, 09:52 AM

नई दिल्ली:

केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ जहां कई किसान संगठन विरोध कर रहे है और उन्हें कांग्रेस सहित अन्य दलों का समर्थन मिल रहा है. वहीं बीजेपी ने कृषि कानूनों के लाभ गिनाने के लिए किसान सम्मेलनों का अभियान छेड़ा है. बीजेपी नेताओं का कहना है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसानों को उपज का मूल्य तय करने का अधिकार देने के साथ उन्हंे सशक्त बनाया है. बीजेपी ने मंगलवार को भोपाल सहित अन्य स्थानों पर किसान सम्मेलन का आयोजन किया.

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भोपाल के भेल दशहरा मैदान में आयोजित किसान सम्मेलन में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कांग्रेस और राज्य की पूर्ववर्ती कमल नाथ सरकार को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा, "जिन कांग्रेसियों ने अपने शासन के दौरान 75 सालों में किसानों के लिए कुछ नहीं किया, कर्जमाफी के नाम पर सरेआम धोखा दिया, उनका मुआवजा खा गए और राहत के तौर पर कभी एक ढेला नहीं दिया, आज वो खुद को किसानों का समर्थक और सबसे बड़ा शुभचिंतक बता रहे हैं. कृषि कानूनों का विरोध कर रहे हैं."

चौहान ने आगे कहा, "प्रधानमंत्री मोदी ने कृषि कानूनों के जरिये किसानों को उनकी उपज का मूल्य तय करने का अधिकार दिया है, उन्हें सशक्त बनाया है. वो विपक्षी लोग जो मैदान में नरेंद्र मोदी का मुकाबला नहीं कर सकते, किसानों को गुमराह करके उन्हें भड़का रहे हैं."

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि, "कृषि कानूनों का विरोध करने और प्रधानमंत्री को गालियां देने वाले कांग्रेसियों ने किसानों को कुछ नहीं दिया. हमारे प्रधानमंत्री मोदी ने किसानों की बेहतरी के लिए अल्पकालीन योजना बनाई और लागू की. उन्होंने खेती की लागत कम करने के उपाय किए, किसानों के स्वाइल हेल्थ कॉर्ड बनवाए. किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य मिल सके, इसकी व्यवस्था की."

सम्मेलन में बीजेपी के प्रदेशाध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ने कहा कि, "प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने किसानों के लिए ऐसे कानून बनाए, जिससे देश के किसान समृद्ध हो सकें. बीजेपी की सरकार खेती को लाभ का धंधा बनाने के लिए लगातार काम कर रही है. आजादी के 75 वर्ष बाद भी कांग्रेस ने कभी किसानों की चिंता नहीं की."

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उन्होंने आगे कहा कि, "जब कोई व्यापारी अपना प्रोडक्ट बनाता है, तो उसका मूल्य खुद तय करता है. कोई कलाकार अगर मूर्ति बनाता है तो उसका मूल्य भी वह स्वयं तय करता है. लोकतंत्र में संवैधानिक तौर पर सबको अधिकार है. इसलिए जब कोई किसान खून पसीना बहाकर फसल उगाता है, तो उसे भी अपनी फसल का मूल्य तय करने का अधिकार मिलना चाहिए. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कृषि बिल के माध्यम से किसानों को उनकी उपज का मूल्य तय करने, उसे कहीं भी बेचने का अधिकार दिया है."

किसान सम्मेलन के दौरान पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं वरिष्ठ नेता सरताज सिंह ने बीजेपी में वापसी की. मुख्यमंत्री चौहान, प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने सरताज सिंह का पुष्पगुच्छ और अंगवस्त्र पहनाकर बीजेपी परिवार में स्वागत किया.