ईडी ने शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किए
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बुधवार को भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या और अन्य के खिलाफ आरोप पत्र दायर किए।
मुंबई:
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बुधवार को यहां एक विशेष अदालत में, बंद कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस द्वारा आईडीबीआई बैंक के 900 करोड़ रुपये के कर्ज को नहीं चुकाने के मामले में भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या और अन्य के खिलाफ आरोप पत्र दायर किए।
लंदन की एक अदालत ने एक दिन पहले 61 वर्षीय माल्या को प्रत्यपर्ण मामले में जमानत देते हुए मामले की अगली सुनवाई की तारीख छह जुलाई तय की थी।
ईडी ने 57 पृष्ठों के आरोप पत्र में उन तरीकों का विस्तृत उल्लेख किया है, जिसके जरिए कर्ज को मंजूरी दी गई और उसके बाद नियमों को तोड़ते हुए उस धन को अलग-अलग जगह भेज दिया गया (धन शोधन)।
साल 2016 के मार्च में ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लांडरिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत आईडीबीआई कर्ज के मामले में किंगफिशर एयरलाइंस के खिलाफ मामला दर्ज किया था।
ईडी के मुताबिक, साल 2009 के अक्टूबर में आईडीबीआई बैंक ने किंगफिशर एयरलाइंस को बिना किसी जमानत के 150 करोड़ रुपये का अल्पकालिक कर्ज दिया था, इसके बाद फिर से 750 करोड़ रुपये का कर्ज दिया गया, जिसमें 200 करोड़ रुपये का ब्रिज लोन भी शामिल था। इसमें मानदंडों और प्रक्रियाओं का उल्लंघन किया गया।
और पढ़ें: टल गया शराब कारोबारी विजय माल्या का प्रत्यर्पण, 4 दिसंबर तक के लिए अदालत ने दी बेल
इस आरोप पत्र से माल्या के खिलाफ ब्रिटेन में भारत सरकार के प्रत्यार्पण मामले को मजबूती मिलने की उम्मीद है। माल्या की कंपनी ने 17 बैंकों के समूह से कुल 9,000 करोड़ रुपये का कर्ज लिया था। इस कर्ज को नहीं चुकाने के मामले की जांच ईडी और केंद्रीय जांच ब्यूरो कर रहे हैं।
मुंबई की विशेष अदालत ने माल्या को भगोड़ा करार दिया है। वह साल 2016 के मार्च में फरार हो गया था और तबसे ब्रिटेन में रह रहा है।
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
धर्म-कर्म
-
Love Rashifal 3 May 2024: इन राशियों के लिए आज का दिन रोमांस से रहेगा भरपूर, जानें अपनी राशि का हाल
-
Ganga Dussehra 2024: इस साल गंगा दशहरा पर बन रहा है दुर्लभ योग, इस शुभ मुहूर्त में स्नान करें
-
Akshaya Tritiya 2024: अक्षय तृतीय के दिन करें ये उपाय, चुम्बक की तरह खिंचा चला आएगा धन!
-
First Hindu Religious Guru: ये हैं पहले हिंदू धर्म गुरु, भारत ही नहीं विश्व भी करता है इन्हें नमन