logo-image

VIDEO: तेजस ने हवा में फायर की पाइथन-5 मिसाइल, दुश्मनों के उड़े होश

बुधवार को रक्षा अनुसंधान विकास संस्थान (Defense research development institute) (DRDO) इसका सफल परीक्षण भी कर दिखाया. तेजस की हवा से हवा में मार गिराने की क्षमता का पांचवीं पीढ़ी का पाइथन-5 प्रक्षेपात्र जुड़ गया है.

Updated on: 28 Apr 2021, 07:19 PM

highlights

  • पाइथन-5 से खौफ खाएंगे देश के दुश्मन
  • पाइथन-5 मिसाइल का सफल परीक्षण
  • रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने टीम को दी बधाई

नयी दिल्ली:

भारत का स्वदेशी विमान तेजस की मारक क्षमता से अब दुश्मन भी कांप उठेगा. तेजस विमान की हवा से हवा में मारक क्षमता के बारे में अब तक हमने सिर्फ सुना था लेकिन बुधवार को रक्षा अनुसंधान विकास संस्थान (Defense research development institute) (DRDO) इसका सफल परीक्षण भी कर दिखाया. तेजस की हवा से हवा में मार गिराने की क्षमता का पांचवीं पीढ़ी का पाइथन-5 प्रक्षेपात्र जुड़ गया है. डीआरडीओ ने बुधवार को जारी किए गए एक बयान में बताया कि इस परीक्षण का लक्ष्य तेजस (Tejas) पर पहले से ही एकीकृत डर्बी बियॉन्ड विजुअल रेंड (BVR) एएएम की बढ़ी हुई क्षमता को सत्यापित करना था.

डीआरडीओ ने बताया कि मंगलवार को गोवा में यह परीक्षण पूरा किया गया था जिसके बाद इस परीक्षण प्रक्षेपण से विभिन्न चुनौतीपूर्ण परिदृश्यों में इसके प्रदर्शन के प्रमाणन के लिये प्रक्षेपास्त्र परीक्षणों की एक सीरीज पूरी हो गई है. डीआरडीओ ने जारी किए गए बयान में आगे कहा डर्बी प्रक्षेपास्त्र ने तेज गति से हवा में करतब दिखा रहे लक्ष्य पर सीधा प्रहार किया और पाइथन प्रक्षेपास्त्र ने भी 100 प्रतिशत लक्ष्य पर वार किया, इस तरह अपनी पूर्ण क्षमताओं को प्रमाणित किया.

यह भी पढ़ेंःकोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को लेकर महाराष्ट्र में 15 मई तक लॉकडाउन कायम

तेजस के पाइथन-5 ने इन परीक्षणों ने अपने सभी लक्षित उद्देश्यों की सफलता पूर्वक प्राप्ति कर ली है. आपको बता दें कि बेंगलुरू में तेजस मेंलगी विमानन प्रणाली के साथ  इस परीक्षणों से पहले प्रक्षेपास्त्र के एकीकृत होने के आकलन के लिये व्यापक हवाई परीक्षण किये गए थे. इन परीक्षणों में लड़ाकू विमान की वैमानिकी, फायर-नियंत्रण रडार, प्रक्षेपास्त्र आयुध आपूर्ति प्रणाली, विमान नियंत्रण प्रणाली शामिल हैं. विमान से प्रक्षेपास्त्र के सफलतापूर्वक अलग होने संबंधी परीक्षणों के बाद गोवा में ‘दुश्मन’ के लक्ष्य को भेदने के लिये परीक्षण किया गया. 

यह भी पढ़ेंःआखिर कैसे हुआ चीन के एक गरीब गांव का कायापलट?

वहीं इस सफलता पूर्वक परीक्षण के बाद केंद्रीय रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ की पूरी टीम को बधाई दी है. विमान से प्रक्षेपास्त्र के सफलतापूर्वक अलग होने संबंधी परीक्षणों के बाद गोवा में ‘दुश्मन’ को टारगेट करके भेदने के लिए इस मिसाइल का परीक्षण किया गया. डीआरडीओ के जारी किए गए बयान में बताया गया कि डीआरडीओ और परीक्षण से जुड़े सभी लोगों को और इसकी पूरी टीम को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बधाई दी है.