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India Maldives Relation: भारत से विवाद मालदीव को पड़ा भारी, टूरिस्टों में भारी गिरावट

India Maldives Relation: चीन मालदीव के लिए सबसे बड़ा बाजार बनकर उभरा है. मालदीव के राष्ट्रपति चीन के समर्थक माने जाते हैं और भारत के खिलाफ बयान देते रहते हैं.

Updated on: 08 Mar 2024, 04:26 PM

नई दिल्ली:

India Maldives Relation: दिल्ली और माले के बीच रिश्ते दिन-प्रतिदिन खराब होते जा रहे हैं. हालांकि, कुछ दिन पहले भारत और मालदीव के बीच डिप्लोमेटिक लेवल पर बातचीत हुई है. इसमें दोनों देश आपसी सहमती से रिश्ते को बढ़ाने और सुधारने की बात कर रहे हैं. इसी बीच एक रिपोर्ट सामने आई है. इसमें कहा जा रहा है कि भारतीय पर्यटकों ने मालदीव घूमने का प्लान कैंसिल या कम कर दिया है. इसका असर मालदीव की अर्थव्यवस्था पर पड़ा है. जानकारी के मुताबिक टूरिस्ट के मामले में मालदीव को बड़ा झटका लगा है. 

भारत से मालदीव घूमने जाने वाले टूरिस्टों में कमी देखने को मिल रहा है. मीडिया रिपोर्ट की माने तो फरवरी महीने में 33 फिसदी कम भारतीय पर्यटकों ने इस साल मालदीव का प्लान किया है. ये रिपोर्ट माले स्थित अधाधु ने जारी किया है. आपको बता दें कि मार्च 2023 में 41000 भारतीय पर्यटक मालदीव घूमने गए. वहीं, मार्च 2024 में ये आंकड़ा गिरकर 27224 हो गया. इसका सीधा मतलब है कि भारतीय टूरिस्टों में 33 फिसदी की गिरावट देखने को मिला है.  कहा जा रहा है  कि इस गिरावट के पीछे भारत सरकार का टूरिज्म कैंपेन है जिसमें भारत के टूरिस्ट जगहों को प्रमोट किया जा रहा है. 

फिलहाल 6 फिसदी भागेदारी

आपको बता दें कि पिछले साल मार्च तक भारतीय पर्यटक मालदीव के टूरिज्म सेक्टर के लिए सबसे बड़ा मार्केट था. रिपोर्ट में बताया गया कि भारतीयों का शेयर 10 फिसदी था. हालांकि दोनों देशों के बीच डिप्लोमेटिक टेंशन  की वजह से इसमें भारी गिरावट देखने को मिल रहा है. वर्तमान समय में भारत छठे पायदान पर पहुंच गया है और ये 6 फिसदी शेयर रह गया है. दूसरी ओर अचानक चीन के टूरिस्ट मालदीव का दौरा कर रहे हैं. आपको बता दें कि मालदीव के राष्ट्रपति ने चीन के दौरे के दौरान चीनी टूरिस्टों की मांग की थी. इसका असर देखने को मिला है. इस साल 54000 टूरिस्टों ने मालदीव घूमने का प्लान किया है. आपको बता दें कि चीन मालदीव टूरिज्म के लिहाज से सबसे बड़ा बाजार बनकर उभरा है. फरवरी में 34600 चीनी टूरिस्ट मालदीव पहुंचे हैं.

पुराना विवाद

आपको बता दें कि भारत और मालदीव के बीच विवाद पीएम मोदी के लक्षद्वीप दौरे के बाद शुरू हुई थी. जिसमें पीएम मोदी के लक्षद्वीप दौरे की फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी. इस पर चीन के तीन मंत्रियों ने पीएम मोदी और भारत के खिलाफ अभ्रद भाषा का इस्तेमाल किया था.जिसके बाद सोशल मीडिया पर बॉयकट मालदीव ट्रैंड करने लगा था. इसमें लोगों से मालदीव की यात्रा न करने की अपील की गई थी. जिसके बाद कई भारतीयों ने अपने मालदीव ट्रिप कैंसिल करने का ऐलान किया था. हालांकि मामले की गंभीरता को देखते और भारत के विरोध के बाद तीनों मंत्रियों को पद से हटा दिया गया था.