पाटीदार आरक्षण आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल से अलग हुए उनके सहयोगी दिनेश बमभानिया ने शुक्रवार को उन पर आरोप लगाया कि उन्होंने गुजरात विधानसभा चुनावों से पहले कांग्रेस से टिकट देने की मांग की थी और इस बारे में अन्य आंदोलनकारियों को अंधेरे में रखा था।
पाटीदार अनामत आंदोलन समिति (पास) के भीतर का विरोध गुजरात चुनावों के बाद बढ़ता चला गया।
एक प्रेस सम्मेलन में बमभानिया ने कहा कि बोटाड में संस्थान की बैठक में हार्दिक को आना चाहिए और इस पर सफाई देनी चाहिए।
बमभानिया ने कहा, 'चुनाव से पहले कांग्रेस नेताओं ने हमें बताया कि हार्दिक ने पार्टी से 30 टिकट मांगे थे। कांग्रेस नेताओं ने हमें 30 उम्मीदवारों की सूची भी दिखायी, जिन्हें हार्दिक मैदान में उतारना चाहते थे। हार्दिक को यह समझाना चाहिए कि पास की कोर कमेटी से इस लेनदेन को क्यूं गुप्त रखा गया था।'
उन्होंने कहा कि हमने इस बारे में जब हार्दिक से पूछा तो उन्होंने इस बारे में कोई जवाब नहीं दिया।
बमभानिया ने हार्दिक की 'शान-औ-शौकत की जिंदगी' पर भी सवाल उठाया और आरोप लगाया कि ‘पास’ से जुड़े कई नेताओं ने दूसरे शहरों में संपत्तियां खरीदी हैं।
यह भी पढ़े : मुंबई हमले के मास्टर माइंड हाफिज सईद की रैली में दिखे फिलीस्तीनी राजदूत, भारत ने जताया विरोध
Source : News Nation Bureau