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संपन्न हुए डूटा चुनाव, डीयू शिक्षक संघ को मिलेगा नया अध्यक्ष और कार्यकारिणी

संपन्न हुए डूटा चुनाव, डीयू शिक्षक संघ को मिलेगा नया अध्यक्ष और कार्यकारिणी

Updated on: 26 Nov 2021, 11:25 PM

दिल्ली:

दिल्ली विश्वविद्यालय शिक्षक संघ यानी डूटा का चुनाव शुक्रवार को दिल्ली विश्वविद्यालय में करवाया गया। इस दौरान हजारों की संख्या में प्रोफेसर्स और शिक्षक वोट देने के लिए विश्वविद्यालय पहुंचे। चुनाव में कांग्रेस, भाजपा, लेफ्ट और आम आदमी पार्टी की विचारधारा को समर्थन देने वाले उम्मीदवार मैदान में हैं। शुक्रवार शाम चुनाव संपन्न होने के कुछ देर बाद ही वोटों की गिनती भी शुरू हो गई। चुनाव अधिकारी का कहना है की देर रात नए डूटा अध्यक्ष की घोषणा कर दी जाएगी।

डूटा दिल्ली विश्वविद्यालय के शिक्षकों का आधिकारिक मान्यता प्राप्त संगठन है। शिक्षकों, सिलेबस, छात्रों एवं पठन-पाठन के विभिन्न मुद्दों पर विश्वविद्यालय प्रशासन के साथ-साथ डूटा की राय भी अहम होती है। विश्वविद्यालय प्रशासन अधिकांश विषयों पर डूटा से राय परामर्श करता है। नई नीतियां लागू करने को लेकर भी डूटा से परामर्श किया जाता रहा है।

डूटा की मौजूदा कोषाध्यक्ष व डीटीएफ की ओर से डूटा अध्यक्ष का चुनाव लड़ रहीं डॉ.आभादेव ने बताया कि शुक्रवार को बड़ी संख्या में दिल्ली विश्वविद्यालय के शिक्षक अपने मताधिकार का उपयोग करने के लिए विश्वविद्यालय पहुंचे। उम्मीद से बढ़कर बड़ी संख्या में शिक्षकों ने वोटिंग में हिस्सा लिया। प्रोफेसर आभा देव के मुताबिक वोटों की गिनती शुक्रवार शाम शुरू हो चुकी है।

देश के सबसे बड़े विश्वविद्यालयों में शुमार दिल्ली विश्वविद्यालय में पिछले एक दशक से कॉलेजों में एडहॉक शिक्षकों की संख्या लगातार बढ़ी है। स्थिति यह है कि कई कॉलेजों में 60 से 70 फीसदी तक एडहॉक टीचर्स काम कर रहे हैं। इनमें एडहॉक महिला शिक्षिकाओं को किसी तरह की मातृत्व अवकाश नहीं मिलता और न ही चिकित्सा सुविधाएं मिल रही हैं। यही कारण है कि विभिन्न शिक्षक संगठनों ने इस बार के चुनाव में एडहॉक टीचर के समायोजन को अपना मुख्य मुद्दा बनाया था।

वहीं दिल्ली विश्वविद्यालय के तदर्थ शिक्षकों ने अपनी ताकत दिखाते हुए एडहॉक टीचर्स फ्रंट बनाया है और जाकिर हुसैन कॉलेज की डॉ. शबाना आजमी को डूटा चुनाव के लिए अपना उम्मीदवार बनाया है। कोविड महामारी के चलते पहली बार डूटा चुनाव तीन महीने विलंब से हुआ है। वैसे इसका कार्यकाल इस वर्ष 29 अगस्त को खत्म हो चुका है।

अध्यक्ष पद के लिए चार उम्मीदवार मैदान में है। इनमें एनडीटीएफ के प्रोफेसर अजय कुमार भागी ( दयालसिंह कॉलेज ) डीटीएफ से डॉ.आभादेव हबीब (मिरांडा हाउस) एएडी ने डॉ. प्रेमचंद को उतारा है।

वहीं दिल्ली विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार ²ष्टिहीन शिक्षकों के लिए इंडिपेंडेंट एक्ससेबल वोटिंग तकनीक का इस्तेमाल किया गया। दिल्ली विश्वविद्यालय शिक्षक संघ यानी डूटा दिल्ली चुनाव में ²ष्टिहीन शिक्षक इंडिपेंडेंट एक्ससेबल वोटिंग तकनीक का इस्तेमाल किया।

गौरतलब है कि दिल्ली विश्वविद्यालय से संबद्ध विभागों व कॉलेजों में 100 से अधिक ²ष्टिहीन शिक्षक हैं। इस तकनीक की बदौलत नेत्रहीन शिक्षकों को अपना वोट डालने के लिए किसी अन्य व्यक्ति की सहायता नहीं लेनी पड़ती। वोटिंग मशीन मतदान के दौरान बटन प्रेस करने पर उम्मीदवार का नाम बताती है जिसके आधार पर नेत्रहीन शिक्षकों को अपने वोट की पहचान हो जाती है।

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