नोटबंदी के फैसले के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल मंगलवार को विधानसभा का आपातकालीन सत्र बुलाया है। मोदी सरकार पर हमला बोलते हुए केजरीवाल ने केंद्र सरकार से नोटबंदी के फैसले को तुरंत प्रभाव से वापस लेने की मांग की है। उन्होंने कहा कि सरकार के पास नोटबंदी के लिए कोई योजना नहीं थी।
केजरीवाल के इस फैसले को लेकर बीजेपी ने विरोध किया है। बीजेपी का कहना है कि काला धन और भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई की सभी सराहना कर रहे हैं लेकिन दिल्ली के मुख्यमंत्री भ्रष्टाचारियों को बचाने में लगे हुए हैं।
केजरीवाल ने सवाल उठाते हुए कहा कि प्रधानमंत्री कहते हैं कि गरीब चैन की नींद सो रहा है और अमीर नींद की गोलियां खा रहा। जबकि, स्थिति इससे उलट है। उन्होंने कहा कि जितना भ्रष्टाचार पिछले चार दिनों में देश में हुआ है, उतना पिछले चार महीनों में नहीं हुआ होगा।
केंद्र सरकार की नीयत पर सवाल उठाते हुए उन्होंने कहा कि सरकार की नीयत खराब है और काले धन के नाम पर लोगों को जहर दिया गया है। यदि भ्रष्टाचार खत्म करने की नीयत होती तो विदेशों में जिनके खाते हैं सबसे पहले उनको पकड़ा जाता।
उन्होंने कहा कि व्यापार पूरी तरह से प्रभावित हो गया है। यदि जल्द इस फैसले को वापस नहीं लिया गया तो आने वाले दिनों में देश का माहौल खराब हो सकता है। सोमवार को हुई दिल्ली सरकार की कैबिनेट बैठक में आपात सत्र बुलाने का फैसला लिया गया।
Source : News Nation Bureau