दिल्ली कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष चौधरी अनिल कुमार बवाना में राजीव रतन आवास योजना के तहत बने फ्लैट्स में हुए हादसे में मृतकों और उसके घायलों के परिवार वालों से मिलने के लिए बवाना पहुंचे।
इस दौरान उन्होंने कहा कि, हादसे के लिए पूरी तरह दिल्ली सरकार जिम्मेदार है। 2013 में बनकर तैयार हुए 47000 फ्लैटों को सरकार ने योजना का नाम बदलने के कारण गरीबों को आवंटन नहीं किया, जिसके परिणामस्वरुप 60,000 रुपये में गरीबों को मिलने वाले फ्लैट आज खंडहर बन चुके हैं।
चौ. अनिल कुमार ने आरोप लगाते हुए कहा कि, बवाना, भलस्वा, नरेला और घोगा में बने इन फ्लैटों का रख-रखाव करने और चौकीदार नहीं बैठाने के कारण असमाजिक तत्वों ने 7 वर्षों में धीरे-धीरे इन मकानों को तोड़कर लूट लिया, जिसके कारण इतना बड़ा हादसा हुआ। दिल्ली के सीएम को हादसे की पूरी जिम्मेदारी लेनी चाहिए।
दिल्ली कांग्रेस के मुताबिक, दिल्ली के 675 जेजे कलस्टरों में लगभग 20 लाख लोग रहते हैं। 7 वर्षों में केजरीवाल सरकार ने एक भी नया फ्लैट नहीं बनवाया और जहां झुग्गी वहीं मकान का वायदा पूरी तरह खोखला साबित हुआ।
दरअसल दिल्ली के बवाना इलाके में बीते शुक्रवार को एक चार मंजिला इमारत गिरने से नौ साल की बच्ची समेत चार लोगों की मौत हो गई थी, जबकि दो लोग घायल हो गए थे। इसके बाद पुलिस की ओर से यह जानकारी दी गई थी कि, ढह गई इमारत राजीव रतन आवास योजना का हिस्सा है जिसमें लगभग 300-400 फ्लैट हैं।
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Source : IANS