भारत का पड़ोसी देश चीन वर्तमान समय में कोरोना वायरस से जूझ रहा है। ऐसे में तिब्बती बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा ने शुक्रवार को चीन के प्रति सहानुभूति व्यक्त की है। चीन में बड़ी संख्या में लोग कोरोना से संक्रमित हो रहे हैं, वायरस पूरे देश में फैल गया है।
दलाई लामा का यह बयान बोधगया से एक संदिग्ध महिला चीनी जासूस की गिरफ्तारी के एक दिन बाद आया है। दलाई लामा ने यह भी कहा कि कोरोना महामारी परमाणु बम से भी ज्यादा खतरनाक है।
दलाई लामा ने कहा कि चीन वर्तमान में कोविड-19 के कारण कठिन स्थिति से गुजर रहा है और मेरी सहानुभूति चीन के लोगों के साथ है। हमें उनके लिए प्रार्थना करनी होगी। कोरोना परमाणु बम से ज्यादा खतरनाक है। दलाई लामा ने अपने उपदेश के दूसरे दिन कहा कि हमें एक परमाणु बम और एक महामारी मुक्त दुनिया बनाने की जरूरत है।
उन्होंने आगे कहा कि बचपन से ही मैं बुद्ध का अभ्यास करता आ रहा हूं। भारत आने के बाद मैं बुद्ध के अधीन हो गया। परमाणु बम की घटना हमेशा दर्दनाक होती है। हम कब तक परमाणु बम के खतरे में रहेंगे? हमें धरती के प्रति अपनी जिम्मेदारी समझनी होगी। हमें बुद्ध के शासन में रहना है।
दूसरे दिन के बोधगया के काल चक्र मैदान में दुनिया भर से 60,000 से अधिक लोगों ने एकत्रित होकर बोधिसत्व की दीक्षा ली। बौद्ध धर्म के अनुयायी भी दलाई लामा की लंबी उम्र की कामना कर रहे हैं।
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Source : IANS