कोर्ट ने आसाराम को सुनाई उम्रकैद की सजा, कहा- संतो की छवि खराब की, लोगों का तोड़ा विश्वास
आसाराम को सजा सुनाते हुए जज ने कहा कि उन्होंने संतों को बदनाम किया है और लोगों के विश्वास को तोड़ा है।
नई दिल्ली:
पोक्सो की विशेष अदालत ने आसाराम को पांच साल पहले नाबालिग लड़की के साथ किये गए रेप मामले में उम्रकैद की सजा सुनाई है। फैसला सुनाते हुए जज ने कहा कि उन्होंने संतों को बदनाम किया है और लोगों के विश्वास को तोड़ा है।
स्पेशल जज मधुसूदन शर्मा ने अपने 453 पन्नों के फैसले में नाराज़गी जताते हुए कहा कि इस गंभीर हरकत से 'न सिर्फ लोगों का विश्वास तोड़ा है बल्कि लोगों के बीच संतों के सम्मान को भी खत्म किया है।'
जज ने कहा, 'आरोपी असाराम संत कहे जाते हैं। उनके देश ही नहीं बल्कि विदेशों में बसे लाखों श्रद्धालु हैं जो उनके अनुयायी रहे हैं। उनके 400 से अधिक आश्रम हैं... मे रे विचार से आऱोपी ने घिनौना और जघन्य कृत्य करके अपने अनुयायियों का विश्वास और संतो के सम्मान को खत्म किया है।'
उन्होंने पीड़िता के पिता का उदाहरण देते हुए कहा कि पीड़िता के पिता ने अहम भूमिका निभाई थी उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में इनका आश्रम बनवाने में।
जज ने फैसले में कहा है कि पीड़िता के पिता के मन में असाराम के लिये अगाध श्रद्धा थी और उन्होंने मध्यप्रदेश के छिंदवाड़ा स्थित आसाराम के गुरुकुल में अपने दोनों बेटों और बेटी को पढ़ने के लिये भेजा।
और पढ़ें: CBI ने कोटखाई रेप मामले को सुलझाया, संदिग्ध गिरफ्तार
उन्होंने कहा है कि उसके बाद भी आरोपी ने बुरे साये से मुक्ति दिलाने के नाम पर उसकी बेटी को आश्रम में जाप के लिये बुलाया और उसके साथ रेप किया।
फैसले में जज शर्मा ने आसाराम और दो अन्य सहयोगियों को सजा सुनाते हुए कहा है कि आसाराम ने 'लड़की के साथ रेप किया, उसके रोने और उसकी अपील को दरकिनार किया कि वो पाप कर रहे हैं जबकि वो उन्हें भगवान मानती थी।'
आसाराम के वकील ने उम्प को देखते हुए सजा में ढील देने की मांग की लेकिन जज ने कहा, 'दोषी के लिये कोई भी बेवजह की छूट देने से आपराधिक न्याय प्रक्रिया को कमज़ोर करेगा और इसमें आम लोगों के विश्वास को कमज़ोर करेगा।'
जज ने कहा, 'अगर न्याय व्यवस्था पीड़ित को सरक्षा नहीं दे सकेगी तो वो खुद आपराझिक न्याय व्यवस्था को नुकसान पहुंचाने के लिये आगे बढ़ेगा या बढ़ेगी। ऐसे में ये अदालत की जिम्मेदारी है कि वो अपराध की गंभीरता को देखते हुए दोषी को सजा दे।'
दोषी करार दिए जाने के बाद आसाराम की प्रवक्ता नीलम दुबे ने बताया कि वह अन्य कानूनी विकल्पों पर विचार करेंगे।
उन्होंने कहा, 'हम कानूनी टीम के साथ इस फैसले पर विचार-विमर्श करेंगे और फिर आगे की रणनीति तय करेंगे। हमें न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है।'
कैसी होगी जिंदगी
फिलहाल आसाराम के बैरक को बदला नहीं गया है और वो उसी बैरक में रहेगा। इसके साथ ही उसे कैदी नंबर 130 का बैज मिला है।
आसाराम अभी तक जेल में अंडरट्रायल के तौर पर बंद था, लेकिन अब उसे एक आम कैदी के तौर पर रहना पड़ेगा। इसके अलावा आश्रम का खाना खाने को नहीं मिलेगा और उसे आम कैदी की तरह ही जेल का खाना खाना होगा और वहीं के कपड़े भी पहनने होंगे।
और पढ़ें: कश्मीर में राजनीतिक कार्यकर्ता की आतंकियों ने गोली मारकर की हत्या
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Vindu Dara Singh Birthday: मुस्लिम लड़की से शादी करके पछताए विंदू दारा सिंह, विवादों में रही पर्सनल लाइफ
-
Heeramandi: सपने में आकर डराते थे भंसाली, हीरामंडी के उस्ताद इंद्रेश मलिक ने क्यों कही ये बात
-
Sonali Bendre On South Cinema: बहुत मुश्किल है साउथ फिल्मों में काम करना, सोनाली बेंद्रे ने क्यों कही ये बात?
धर्म-कर्म
-
Shani Jayanti 2024: ये 4 राशियां हैं शनिदेव को बहुत प्रिय, शनि जयंती से इन राशियों के शुरू होंगे अच्छे दिन!
-
Aaj Ka Panchang 6 May 2024: क्या है 6 मई 2024 का पंचांग, जानें शुभ-अशुभ मुहूर्त और राहु काल
-
Love Rashifal 6 May 2024: इन राशियों का आज पार्टनर से हो सकता है झगड़ा, जानें अपनी राशि का हाल
-
Somwar Ke Upay: सोमवार के दिन करें ये चमत्कारी उपाय, शिव जी हो जाएंगे बेहद प्रसन्न!