तीन तलाक: कभी हिंदू आस्था से जोड़कर कपिल सिब्बल ने किया था बचाव, आज कर रहे हैं तारीफ

एआईएमपीएलबी की ओर से पेश वकील सिब्बल ने 16 मई को तीन तलाक पर सुनवाई को हिंदू धर्म की आस्था से जोर दिया था। जिसके बाद बीजेपी सहित कई दलों ने इसकी आलोचना की थी।

एआईएमपीएलबी की ओर से पेश वकील सिब्बल ने 16 मई को तीन तलाक पर सुनवाई को हिंदू धर्म की आस्था से जोर दिया था। जिसके बाद बीजेपी सहित कई दलों ने इसकी आलोचना की थी।

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Jeevan Prakash
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तीन तलाक: कभी हिंदू आस्था से जोड़कर कपिल सिब्बल ने किया था बचाव, आज कर रहे हैं तारीफ

कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल (फाइल फोटो)

कांग्रेस सहित ज्यादातर राजनीतिक दलों ने तीन तलाक पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि यह फैसला जहां पर्सनल लॉ की हिफाजत करता है, वहीं तीन तलाक को खत्म करता है।

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ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) के वकील रहे कपिल सिब्बल का यह बयान चौंकाने वाला है। एआईएमपीएलबी सुप्रीम कोर्ट और कोर्ट के बाहर तीन तलाक के समर्थन में आवाज उठाती रही है।

एआईएमपीएलबी की ओर से पेश वकील सिब्बल ने 16 मई को तीन तलाक पर सुनवाई को हिंदू धर्म की आस्था से जोर दिया था। जिसके बाद बीजेपी सहित कई दलों ने इसकी आलोचना की थी। हालांकि कपिल सिब्बल कोर्ट में दिये गये दलीलों को प्रोफेशनल बताते रहे हैं।

16 मई को एआईएमपीएलबी की तरफ से पेश हुए वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा था, 'कुछ लोगों का मानना है कि भगवान राम का जन्म अयोध्या में हुआ था और यह आस्था का मामला है और इस पर सवाल नहीं उठाया जा सकता। उसी तरह, मुस्लिम पर्सनल लॉ भी आस्था का विषय है और न्यायालय को इस पर सवाल उठाने से बचना चाहिए।'

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जब सिब्बल ने जोर दिया कि पर्सनल लॉ आस्था का मामला है और न्यायालय को इसमें दखल नहीं देना चाहिए, तो जस्टिस जोसेफ ने कहा था, 'हो सकता है। लेकिन फिलहाल 1,400 वर्षो बाद कुछ महिलाएं हमारे पास इंसाफ मांगने के लिए आई हैं।'

सिब्बल ने कहा, 'पर्सनल लॉ कुरान व हदीस से लिया गया है और तीन तलाक 1,400 साल पुरानी प्रथा है। हम यह कहने वाले कौन होते हैं कि यह गैर-इस्लामिक है। यह विवेक या नैतिकता का सवाल नहीं, बल्कि आस्था का सवाल है। यह संवैधानिक नैतिकता का सवाल नहीं है।'

सिब्बल ने कहा था, 'आस्था को कानून की कसौटी पर नहीं कसा जा सकता।' उन्होंने कहा, 'हम बेहद बेहद जटिल दुनिया में प्रवेश कर चुके हैं, जहां क्या गलत है और क्या सही इसकी खोज करने के लिए हमें 1,400 साल पहले इतिहास में जाना होगा।'

आपको बता दें की मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक फैसला देते हुए तीन तलाक को 'असंवैधानिक' व 'मनमाना' करार देते हुए कहा कि यह 'इस्लाम का हिस्सा नहीं' है।

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HIGHLIGHTS

  • कपिल सिब्बल ने तीन तलाक पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का क्या स्वागत
  • कपिल सिब्बल ने कहा, यह फैसला जहां पर्सनल लॉ की हिफाजत करता है, वहीं तीन तलाक को खत्म करता है
  • पहले सिब्बल ने एआईएमपीएलबी के वकील के नाते सुप्रीम कोर्ट में तीन तलाक के पक्ष में रखी थी दलील

Source : News Nation Bureau

Supreme Court congress Leader Triple Talaq verdict Kapil Sibal
      
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