Yogi Adityanath News: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में बीजेपी वर्किंग कमेटी की बैठक को संबोधित किया. उनके भाषण में आगामी उपचुनाव की तैयारियों की झलक दिखी. उन्होंने उन्हीं मुद्दों पर समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव को घेरा, जिनका जिक्र प्रदेश में लोकसभा चुनाव में बीजेपी को मिली हार की समीक्षा बैठक में उठाया गया. सीएम योगी ने अंबेडकर, संविधान और आरक्षण के मुद्दे पर अखिलेश यादव को घेरा. साथ ही सीएम योगी की बातों इस बात का मलाल दिखा कि पार्टी इनको मुद्दा नहीं बना पाई. बता दें कि बीजेपी की एक दिवसीय प्रदेश वर्किंग कमेटी की बैठक आज यानी रविवार को लखनऊ के डॉक्टर राम मनोहर लोहिया लॉ यूनिवर्सिटी के अंबेडकर सभागार में हुई.
जब बदला कन्नौज मेडिकल कॉलेज का नाम
सीएम योगी ने अखिलेश यादव पर करारा प्रहार करते हुए कहा, 'समाजवादी पार्टी की सरकार के दौरान कन्नौज के मेडिकल कॉलेज को लेकर चर्चा हुई थी. कन्नौज के मेडिकल कॉलेज का नाम बाबा साहब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के नाम पर रखा गया था. समाजवादी पार्टी के तत्कालीन सीएम ने नाम बदल दिया, लेकिन हमने मेडिकल कॉलेज का नाम फिर से बाबा साहब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के नाम पर रखा.' इतना ही नहीं सीएम योगी आदित्यनाथ ने समाजवादी पार्टी पर दलित चितंकों, महापुरुषों और सामाजिक परिवर्तन के महापुरुषों को अपमानित करने का आरोप लगाया.' बता दें कि इस बैठक में बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी शामिल हुए.
लोकसभा चुनाव में हार की वजह बने ये मुद्दे
लोकसभा चुनाव 2024 में अखिलेश यादव ने बीजेपी के खिलाफ नैरेटिव सेट किया था कि बीजेपी सत्ता में आई तो फिर संविधान को बदल देगी. अनुसूचित जातियों और जनजातियों के आरक्षण को खत्म कर देगी. लोकसभा चुनाव में मिली हार पर पार्टी की हालिया समीक्षा बैठक में ये बातें निकल कर सामने आई कि पार्टी विपक्ष के इस नैरेटिव को काउंटर नहीं कर पाई, जिसका खामियाजा हार के रूप में भुगतना पड़ा. अब पार्टी विपक्ष के इस नैरेटिव को तार-तार करने में लग गई है. सीएम योगी आदित्यनाथ के आज (रविवार) के भाषण में इसकी झलक साफ दिखी.
यहां देखें- सीएम योगी का भाषण
योगी की बातों में दिखा ये मलाल
सीएम योगी आदित्यनाथ ने अखिलेश यादव पर वार करते हुए कहा, 'ये तो संविधान की अवहेलना करते थे. इन्होंने तो धर्म के आधार पर अनुसूचित जाति, जनजातियों और पिछड़ी जातियों को मिलने वाले आरक्षण में सेंध लगाने का काम किया था, कौन नहीं जानता था 2016 में, जब समाजवादी पार्टी की सरकार थी, अनुसूचित जातियों के विद्यार्थियों की स्कॉलरशिप रोकने का काम समाजवादी पार्टी ने किया था. हम लोग इसको मुद्दा नहीं बना पाए.'
उप चुनाव के लिए पार्टी का रोडमैप
सीएम योगी के भाषण में उपचुनाव के लिए बीजेपी की तैयारियों की झलक दिखी. दरअसल, प्रदेश में 10 विधानसभा सीटों पर चुनाव होने वाले हैं. बीजेपी ने लोकसभा चुनाव में हार पर समीक्षा से सबक लेते हुए उप चुनाव के लिए रोडमैप तैयार किया है. पार्टी का पूरा फोकस दलित और ओबीसी वोटर्स को साधने पर लगाए. पार्टी खासकर दलितों की सुनेंगी. योगी सरकार में जो दलित मंत्री हैं और पार्टी के दलित मोर्चे के नेताओं से बातचीत की गई है और उपचुनाव की प्लानिंग पर जोर दिया है. साथ ही कहा गया है कि अब ग्राउंड लेवल से जो नाम निकल कर आएंगे उनको ही चुनाव लड़वाया जाएगा.
यूपी की किन सीटों पर होंगे उपचुनाव
उत्तर प्रदेश की 10 में से 9 विधानसभा सीटों पर लोकसभा चुनाव में विधायकों के सांसद चुने जाने के बाद उपचुनाव कराए जा रहे हैं. कानपुर के सीसामऊ की सीट सपा एमएलए इरफान सोलंकी को सजा सुनाए जाने के बाद खाली हुई है. करहल, सीसामऊ, मिल्कीपुर, कटेहरी, कुंदरकी, खैर, गाजियाबाद, फूलपुर, मझवा और मीरापुर विधानसभा सीट पर विधानसभा उप चुनाव होने हैं.
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Source : News Nation Bureau