झांसी में मुठभेड़ में मारे गए अतीक अहमद के बेटे असद और शूटर गुलाम के शव के शुक्रवार देर रात झांसी से प्रयागराज पहुंचने की उम्मीद है।
दोनों मृतकों की कब्र कसारी मसरी गांव जो कि पारिवारिक कब्रिस्तान है, में अगल-बगल तैयार की गई है। अतीक अहमद के चकिया स्थित घर में आज देर रात अंतिम विदाई के लिए भारी भीड़ उमड़ी है।
वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों ने कहा कि शवों के देर रात प्रयागराज पहुंचने की उम्मीद है। जिसके बाद उन्हें सुपुर्द-ए-खाक किया जाएगा।
उमेश पाल हत्याकांड में शामिल शूटर गुलाम के परिवार ने उसका शव लेने से इनकार कर दिया है। उनकी मां खुशनुदा ने कहा कि परिवार की प्रतिष्ठा को धूमिल करने वाले बेटे से उनका कोई लेना-देना नहीं है।
खुशनुदा ने कहा कि मैं भी एक मां हूं। उमेश की भी मां थी। गुलाम को अपने किए की सजा मिली है। उसने हमारे सिर को बुढ़ापे में नीचे कर दिया। मैं कभी भी अनजान लोगों के सामने घर से बाहर नहीं गई। उसने मुझे यह दिन भी दिखाया। उसने गलत किया है, जिसकी सजा उसे मिली है।
गुलाम के भाई राहिल हसन ने कहा कि वह उन्हें सड़क पर ले आया। वह मेरा भाई है, लेकिन उसे भाई होने के लायक कुछ करना चाहिए था। उन्होंने हमारे परिवार का नाम खराब किया है। ऐसे में हमारे परिवार ने पहले ही तय कर लिया था कि एनकाउंटर की स्थिति में हम गुलाम की लाश लेने नहीं जाएंगे।
गुलाम मोहम्मद प्रयागराज के शिवकुटी थाना क्षेत्र के रसूलाबाद का रहने वाला था। उमेश पाल हत्याकांड में गुलाम मोहम्मद का नाम सामने आने के बाद प्रशासन ने दावा किया कि उसके घर को अवैध तरीके से बनाया गया था और उसे तोड़ दिया गया।
सूत्रों ने कहा कि अतीक अपने बेटे के अंतिम संस्कार में शामिल होने के इच्छुक थे लेकिन उनके अनुरोध पर अभी तक कोई जानकारी सामने नहीं आई है।
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Source : IANS