हिमाचल का मुख्यमंत्री चुने जाने को लेकर होने वाली बीजेपी की बैठक से एक दिन पहले ही प्रेम कुमार धूमल ने खुद को हिमाचल के मुख्य मंत्री पद की रेस से बाहर कर लिया है।
केंद्रीय मंत्री जे पी नड्डा और पांच बार विधायक रह चुके जयराम ठाकुर के मुख्यमंत्री पद की रेस में आगे हैं। ऐसी संभावना जताई जा रही है इन दोनों में से किसी एक को मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है।
दिल्ली से पर्यवेक्षक बनाकर भेजे गए निर्मला सीतारमन और नरेंद्र सिंह तोमर की विधायकों से हुई बातचीत बेनतीजा रही और वो दिल्ली वापस आ गए हैं।
बीजेपी के सूत्रों का कहना है कि ठाकुर रेस में आगे थे लेकिन नड्डा की दावेदारी भी मज़बूत मानी जा रही है और उन्हें सभी विधायकों का समर्थन मिल सकता है।
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उधर धूमल ने खुद को मुख्यमंत्री की रेस से अलग करते हुए कहा, 'मीडिया में इस बात को लेकर अफवाह है कि मैं सीएम पद की रेस में हूं। मैनें नतीजे आने के बाद ही साफ कर दिया था कि मैं इस पद की रेस से बाहर हूं।'
चुनावों में धूमल पार्टी के मुख्यमंत्री पद का चेहरा थे, लेकिन वो चुनाव में हार गए हैं। सूत्रों का कहना है कि उन्हें पार्टी नेतृत्व की तरफ से कहा गया है कि वो खुद को रेस से बाहर होने की घोषणा कर दें।
गुरुवारो को हुई बैठक में पर्यवेक्षकों के सामने धूमल और ठाकुर के विधायकों ने नारे लगाए थे।
अब बीजेपी की एक और बैठक पर्यवेक्षकों की निगरानी में रविवार को होने वाली है जिसमें मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार पर चर्चा की जाएगी।
सुजानपुर में विधानसभा चुनाव के दौरान धूमल की हार से राज्य में नई सरकार के नेतृत्व को लेकर बीजेपी में संकट पैदा हो गया है।
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Source : News Nation Bureau