logo-image

29 फरवरी को ही मिल गई थी मध्‍य प्रदेश में कमलनाथ की सरकार गिराने को हरी झंडी

सूत्रों के अनुसार, बताया जा रहा है कि बीजेपी आलाकमान ने 29 फरवरी को दिल्‍ली में एक बैठक की थी, जिसमें पार्टी अध्‍यक्ष जेपी नड्डा, पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान, विष्णु दत्त शर्मा, आदि मौजूद थे.

Updated on: 04 Mar 2020, 11:26 AM

नई दिल्‍ली:

मध्‍य प्रदेश में कमलनाथ के नेतृत्‍व में चल रही कांग्रेस की सरकार को गिराने और बीजेपी की सरकार बनाने को पार्टी आलाकमान ने पहले ही हरी झंडी दे दी थी. सूत्रों के अनुसार, बताया जा रहा है कि बीजेपी आलाकमान ने 29 फरवरी को दिल्‍ली में एक बैठक की थी, जिसमें पार्टी अध्‍यक्ष जेपी नड्डा, पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान, विष्णु दत्त शर्मा, आदि मौजूद थे. बताया जा रहा है कि बैठक में आलाकमान ने मध्य प्रदेश में सरकार बनाने को हरी झंडी दे दी थी.

यह भी पढ़ें : मध्य प्रदेश में 'ऑपरेशन कमल' से कमलनाथ सरकार खतरे में

मंगलवार रात कांग्रेस के 8 विधायक बीजेपी नेताओं के साथ दिल्ली पहुंचे थे, जबकि शिवराज सिंह चौहान भी दिल्ली पहुंचे थे. विधायकों को छुड़ाने के मिशन पर कमलनाथ के चार मंत्री को दिल्ली रवाना हुए. विधायकों की छुड़ाने की कोशिश में जमकर ड्रामा हुआ था. बीजेपी नेताओं ने होटल में पुलिस बुला ली थी. देर रात इस ड्रामे में कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह की एंट्री हुई. रात 2 बजे बीजेपी और कांग्रेस के बीच चली विधायकों की छीनाझपटी में बीएसपी विधायक राम बाई कांग्रेस नेताओं के साथ रवाना हो गईं.

मध्‍य प्रदेश विधानसभा में 228 सदस्य हैं. दो विधायकों के निधन से दो सीटें खाली हैं. अभी कांग्रेस के पास 114, बीजेपी के पास 107 विधायक हैं. दो विधायक बसपा के तो एक विधायक सपा का है. विधानसभा में चार निर्दलीय विधायक भी हैं. मंत्री पद न मिलने से आदिवासी विधायक बिसाहुलाल साहू और अन्‍य विधायक नाराज हैं. बीजेपी की इन विधायकों पर नजर है. हालांकि कांग्रेस ने समय रहते सावधानी बरती और चार विधायकों को रिजॉर्ट से निकाल पाने में सफल हुई है.

यह भी पढ़ें : कोरोना वायरस की आ गई रिपोर्ट, जानें बर्थडे पार्टी में गए 6 लोगों की रिपोर्ट में क्‍या निकला

मध्‍य प्रदेश सरकार के मंत्री जीतू पटवारी ने कहा, बीजेपी लोकतंत्र की हत्‍या करना चाहती है. मोदी जी अलग तरह की राजनीति करने की बात करते हैं. यह उनकी अलग तरह की राजनीति करने का उदाहरण है. पटवारी ने कहा, हमारे विधायकों को 50-60 करोड़ रुपये ऑफर किए गए. हमारे कुछ विधायक बेंगलुरू में हैं पर वे हमारे संपर्क में हैं.

पटवारी ने यह भी कहा कि सरकार गिराने के पीछे शिवराज सिंह चौहान का दिमाग है. इस मामले को लेकर कई वीडियो और ऑडियो वायरल हो रहे हैं, जिसमें उनकी संलिप्‍तता होने की बात कही जा रही है. उन्‍होंने यह भी कहा कि मध्‍य प्रदेश की सरकार को कोई खतरा नहीं है.

उधर, दिग्विजय सिंह का आरोप है कि BJP ने गुरुग्राम के एक होटल में 10 से 11 विधायकों को रखा था, जिनमें से छह से सात विधायकों को मुक्‍त करा लिया गया है. अभी केवल चार विधायक ही बीजेपी के पास हैं. गुरुग्राम में रात भर सियासी ड्रामा चला. जानकारी के मुताबिक, नरोत्‍तम मिश्रा पांच विधायकों के साथ होटल में रुके थे.

यह भी पढ़ें : आज किस बात पर हंगामा करेगी कांग्रेस, दिल्‍ली हिंसा पर या फिर मध्‍य प्रदेश में आए भूचाल पर

दिग्विजय सिंह ने कहा, 'BJP अहंकार में डूबी हुई है. बसपा विधायक रामबाई से गुंडागर्दी की गई और कई विधायकों को बंधक बनाकर रखा गया.' दिग्विजय सिंह ने बीजेपी पर कमलनाथ सरकार को अस्थिर करने का भी आरोप लगाया. उन्‍होंने कहा, हरियाणा में बीजेपी की सरकार होने के कारण भाजपा के नेताओं ने इस होटल को चुना.