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BJP ने राहुल गांधी की तुलना मीर जाफर से की, कहा-माफी मांगनी ही होगी

लंदन में राहुल गांधी के बयान को लेकर भाजपा हमलावर है. इस मसले पर विवाद इतना बढ़ गया है कि बीते छह दिनों से राज्यसभा और लोकसभा की कार्रवाई पूरी तरह ठप हो गई.

Updated on: 21 Mar 2023, 01:42 PM

highlights

  • कहा,  राहुल गांधी को माफी मांगी ही होगी.
  • राहुल गांधी आज के राजनीतिक मीर जाफर हैं: संबित पात्रा
  • संसद में न बोलने की अनुमति मिलने के दावे पर भी सवाल खड़े किए

नई दिल्ली:

लंदन में राहुल गांधी के बयान को लेकर भाजपा हमलावर है. इस मसले पर विवाद इतना बढ़ गया है कि बीते छह दिनों से राज्यसभा और लोकसभा की कार्रवाई पूरी तरह ठप हो गई. भाजपा ने आगे भी इस मसले पर संघर्ष रखने का संदेश दिया है. मीडिया से बातचीत के दौरान भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी को माफी मांगी ही होगी. उन्होंने राहुल गांधी की तुलना मीर जाफर से कर डाली.  उन्होंने कहा कि राहुल गांधी ने विदेशी ताकतों से भारत की लोकतांत्रिक प्रक्रिया में दखल देने की मांग की है. यह हरकत मीर जाफर जैसी ही है. उसने इस तरह से ईस्ट इंडिया कंपनी की मदद की थी. 

भाजपा के प्रवक्ता ने कहा कि राहुल गांधी आज के राजनीतिक मीर जाफर हैं. पात्रा ने कहा कि शहजादा को नवाब बनने की चाहत है. इसके लिए ईस्ट इंडिया कंपनी को मदद का प्रस्ताव दिया. आज इतिहास दोहराया जा रहा है. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी को इस मामले में माफी मंगवाकर रहेंगे. उन्होंने कहा राहुल गांधी और मणिशंकर अय्यर में क्या अंतर है. अय्यर ने भी पाकिस्तान और कांग्रेस को एकसाथ काम करने का विचार रखा था. इस तरह राहुल गांधी ने भी कहा कि हमारी लोकतांत्रिक गतिविधियों में दखल देना चाहिए. भाजपा नेता ने कहा कि राहुल गांधी ने अपना स्तर इतना गिरा लिया कि उन्होंने लंदन में कहा कि मीडिया और न्यायपालिका भारत में आजाद नहीं हैं. पात्रा ने कहा कि स्वतंत्र न्यायपालिका कैसे होती है, यह तो आपातकाल काे जानने से पता चलता है.  

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संबित ने राहुल गांधी की ओर से संसद में न बोलने की अनुमति मिलने के दावे पर भी सवाल खड़े किए. पात्रा ने कहा कि आप कहते है कि हमारा माइक ऑफ किया जाता है. राहुल गांधी संसद में सिर्फ 52 फीसदी ही हाजिरी रखते हैं. वह केरल से सांसद हैं हैं. यहां के सांसदों की हाजिरी 84 प्रतिशत है. वहीं राष्ट्रीय औसत 80 फीसदी है. पात्रा ने कहा कि राहुल की हाजिरी ही ऑफ है. माइक तो हमेशा आन है. लोकतंत्र में डिबेट का ही महत्व है. राहुल गांधी ने अब तक छह बहसों में ही भाग लिया है.